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बालिका गृह यौन हिंसा : ब्रजेश, रामाशंकर व विक्की सहित 20 आरोपितों के मामले की पॉक्सो कोर्ट में एकसाथ चलेगी सुनवाई

आरोप तय होने पर एक साथ सभी आरोपितों को सामना करना होगा सेशन-ट्रायल। रामाशंकर के आत्मसमर्पण व विक्की की गिरफ्तारी के बाद कोर्ट का आया निर्णय।

By Ajit KumarEdited By: Published: Fri, 18 Jan 2019 10:43 PM (IST)Updated: Sat, 19 Jan 2019 07:30 AM (IST)
बालिका गृह यौन हिंसा : ब्रजेश, रामाशंकर व विक्की सहित 20 आरोपितों के मामले की पॉक्सो कोर्ट में एकसाथ चलेगी सुनवाई
बालिका गृह यौन हिंसा : ब्रजेश, रामाशंकर व विक्की सहित 20 आरोपितों के मामले की पॉक्सो कोर्ट में एकसाथ चलेगी सुनवाई

मुजफ्फरपुर, जेएनएन। बालिका गृह यौन हिंसा मामले में विशेष पॉक्सो कोर्ट में ब्रजेश व उसके मैनेजर रामाशंकर सिंह उर्फ मास्टर साहब व मधु के भांजे विक्की सहित 20 आरोपितों के मामले की सुनवाई एक साथ चलेगी। इसमें आरोप तय से लेकर सेशन-ट्रायल तक का सामना सभी आरोपितों को एक साथ करना होगा।

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 रामाशंकर के कोर्ट में आत्मसमर्पण व विक्की को गिरफ्तार कर पेश किए जाने के बाद विशेष पॉक्सो कोर्ट ने यह निर्णय किया है। सीबीआइ के विशेष लोक अभियोजक व आरोपितों के अधिवक्ताओं को कोर्ट की ओर से इसकी जानकारी भी दी गई है। इसका किसी ने विरोध भी नहीं किया।

सुनवाई से रखा गया था अलग

मामले की जांच के बाद सीबीआइ ने 19 दिसंबर को 21 आरोपितों के विरुद्ध चार्जशीट दाखिल की थी। इसमें ब्रजेश सहित 18 आरोपित न्यायिक हिरासत में जेल में बंद थे। तीन आरोपितों रामाशंकर सिंह, विक्की व डॉ. प्रमीला को फरार दिखाते हुए सीबीआइ ने यह चार्जशीट दाखिल की थी। दो जनवरी को पॉक्सो कोर्ट के आदेश में कहा गया था कि रामाशंकर व विक्की के विरुद्ध गैर जमानती वारंट जारी किया जा चुका है।

 निकट भविष्य में दोनों के कोर्ट के समक्ष उपस्थित होने की संभावना कम है, इसलिए दोनों के वाद को पृथक किया जाता है। 12 जनवरी को सदर थाना इलाके से सीबीआइ ने विक्की को गिरफ्तार किया और 15 जनवरी को रामाशंकर सिंह ने विशेष पॉक्सो कोर्ट में सरेंडर कर दिया।

 फिलहाल यह मामला शुरुआती दौर में है और आरोपितों को पुलिस पेपर दिए जाने की प्रक्रिया में है। इसके बाद आरोपितों के विरुद्ध विशेष कोट में आरोप तय किए जाने की प्रक्रिया शुरू होगी। आरोप तय होने के बाद मामले को साक्ष्य पर रखकर सेशन-ट्रायल शुरू होगा। चूंकि कोर्ट में अभी पुलिस पेपर देने की प्रक्रिया अभी चल रही थी और दोनों आरोपित कोर्ट के समक्ष आ गया है। इसलिए आगे की कानूनी प्रक्रिया एक साथ चलाने में कोई अड़चन नहीं आनेवाली है।

21 आरोपितों के विरुद्ध चार्जशीट

पुलिस जांच में जहां पिछले साल 26 जुलाई को ब्रजेश सहित 11 आरोपितों के विरुद्ध विशेष पॉक्सो कोर्ट में चार्जशीट दाखिल की गई थी। वहीं सीबीआइ जांच के बाद उन 11 आरोपितों के अलावा दस अन्य आरोपितों के विरुद्ध चार्जशीट दाखिल की गई।

 इसमें से 18 आरोपित न्यायिक हिरासत में जेल में बंद हैं। इनमें ब्रजेश ठाकुर, इंदू कुमारी, मीनू देवी, मंजू देवी, चंदा देवी, नेहा कुमारी, हेमा मसीह, किरण कुमारी, रवि कुमार रोशन, विकास कुमार, दिलीप कुमार वर्मा, विजय कुमार तिवारी, गुड्डू कुमार पटेल उर्फ गुड्डू, कृष्ण कुमार राम उर्फ कृष्णा उर्फ किशन, रोजी रानी, रामानुज ठाकुर उर्फ मामू, डॉ. अश्विनी उर्फ आसमानी व साइस्ता परवीन उर्फ मधु शामिल हैं।

 रामाशंकर सिंह उर्फ मास्टर साहब व विक्की फिलहाल पांच-पांच दिनों के सीबीआइ रिमांड पर हैं। 15 जनवरी को कोर्ट के समक्ष आत्मसमर्पण के बाद रामाशंकर सिंह को उस दिन न्यायिक हिरासत में जेल भेजा गया था। बाद में सीबीआइ ने उसे रिमांड पर लिया।

वाद की सुनवाई में आएगी तेजी, एक साथ होगा फैसला

आरोपित रामाशंकर सिंह के अधिवक्ता शरद सिन्हा कहते हैं कि इससे वाद की सुनवाई में तेजी आएगी। कोर्ट में एक ही बार सभी आरोपितों के विरुद्ध साक्ष्य पेश किए जाएंगे। बचाव पक्ष भी एक बार में ही उसका प्रतिपरीक्षण कर सकेंगे। एक साथ कोर्ट का फैसला आएगा। इससे कोर्ट, अभियोजन व बचाव पक्ष का समय कम लगेगा और परेशानी कम होगी।


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