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बालिका गृह मामला: ब्रजेश सहित अन्य आरोपितों पर अगली तारीख को तय किए जाएंगे आरोप

सभी आरोपितों की वीडियो कांफ्रेंसिंग से पेशी हुई। आरोपितों की न्यायिक हिरासत की अवधि गुरुवार को पूरी होने पर सुनवाई हुई।

By Ajit KumarEdited By: Published: Thu, 07 Feb 2019 03:51 PM (IST)Updated: Thu, 07 Feb 2019 03:51 PM (IST)
बालिका गृह मामला: ब्रजेश सहित अन्य आरोपितों पर अगली तारीख को तय किए जाएंगे आरोप
बालिका गृह मामला: ब्रजेश सहित अन्य आरोपितों पर अगली तारीख को तय किए जाएंगे आरोप

मुजफ्फरपुर, जेएनएन। बालिका गृह यौन हिंसा मामले के मुख्य आरोपित ब्रजेश ठाकुर सहित अन्य आरोपितों की वीडियो कांफ्रेसिंग से गुरुवार को विशेष कोर्ट में पेशी हुई। इस दौरान कोर्ट में सुनवाई हुई जहां कोर्ट ने कहा कि सभी आरोपितों पर अगली तारीख को आरोप तय किए जाएंगे।

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    पाट‍ियाला जेल में बंद ब्रजेश के अलावा बेउर जेल में बंद बाल संरक्षण इकाई के तत्कालीन सहायक निदेशक रोजी रानी, बाल संरक्षण पदाधिकारी रवि रोशन व अन्य आरोपितों एवं मुजफ्फरपुर जेल में बंद मधु तथा अन्य आरोपितों की वीडियो कांफ्रेंसिंग से पेशी हुई। सभी आरोपितों की न्यायिक हिरासत की अवधि गुरुवार को पूरी होने पर सुनवाई हुई। 

आरोपित रामानुज को मुहैया कराया गया वकील 

बालिका गृह यौन हिंसा मामले में न्यायिक हिरासत में जेल में बंद रामानुज ठाकुर उर्फ मामू के मुकदमा की पैरवी करने के लिए कोर्ट ने वकील मुहैया करा दिया है। इसको लेकर गुरुवार को कोर्ट ने आदेश जारी कर दिया। उसकी अर्जी पर गुरुवार को विशेष कोर्ट में सुनवाई हुई जहां कोर्ट ने वकील मुहैया कराने का आदेश दिया। डिफेंस पैनल की वरीय अधिवक्ता सुनीता कुमारी को रामानुज का वकील नियुक्त किया गया है।

   रामानुज की ओर से उन्होंने पुलिस पेपर किया रिसीव। रामानुज ने बुधवार को अपने मुकदमा की पैरवी करने के लिए वकील मुहैया कराने की अर्जी विशेष कोर्ट में भेजी थी। यह अर्जी उसने खुदीराम बोस केंद्रीय कारा मुजफ्फरपुर के माध्यम से भेजी है। वह इसी जेल में बंद है। 

कोर्ट के समक्ष लगाई थी गुहार

पिछली तारीख को वीडियो कांफ्रेंसिंग से पेशी के दौरान रामानुज ठाकुर ने विशेष पॉक्सो कोर्ट से अपने मुकदमा की पैरवी करने के लिए वकील मुहैया करने की गुहार लगाई थी। उसने  कहा था कि आर्थिक स्थिति खराब के कारण वह मुकदमे की पैरवी के लिए वकील रखने की स्थिति में नहीं है। इससे वह पुलिस पेपर नहीं ले पा रहा है।विशेष पॉक्सो कोर्ट के न्यायाधीश आरपी तिवारी ने उसे इस संबंध में जेल अधीक्षक के माध्यम से अर्जी भेजने का निर्देश दिया था। 


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