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West Bengal से अगवा चार्टर्ड अकाउंटेंट मुजफ्फरपुर में मुक्त, मांगी गई थी पांच करोड़ की फिरौती, जानें पुलिस को कैसे मिली सफलता

चार गिरफ्तार और 40 लाख रुपये बरामद। अपहर्ताओं के पास से हथियार व एसयूवी जब्त एसएसपी के नेतृत्व वाली टीम कर रही छापेमारी।

By Ajit KumarEdited By: Published: Sun, 12 Jan 2020 11:37 AM (IST)Updated: Sun, 12 Jan 2020 10:04 PM (IST)
West Bengal से अगवा चार्टर्ड अकाउंटेंट मुजफ्फरपुर में मुक्त, मांगी गई थी पांच करोड़ की फिरौती, जानें पुलिस को कैसे मिली सफलता
West Bengal से अगवा चार्टर्ड अकाउंटेंट मुजफ्फरपुर में मुक्त, मांगी गई थी पांच करोड़ की फिरौती, जानें पुलिस को कैसे मिली सफलता

मुजफ्फरपुर, जेएनएन। पांच करोड़ की फिरौती के लिए पश्चिम बंगाल के सिलीगुड़ी से अगवा प्रतिष्ठित चार्टर्ड  अकाउंटेंट किशन कुमार अग्रवाल (45) को रिहा करने के लिए बदमाशों ने 50 लाख की फिरौती वसूल ली थी। बदमाशों ने पीछे लगी पुलिस टीम की दबिश को देखते हुए किशन को गोपालगंज व मुजफ्फरपुर के बीच शनिवार को छोड़ दिया। मामले की जांच में लगी पुलिस टीम ने उन्हें सकुशल अपनी अभिरक्षा में ले लिया। इस बीच मुजफ्फरपुर पुलिस ने भाग रहे चार बदमाशों को मोतीपुर में गिरफ्तार किया। उनसे फिरौती के 47 लाख 74 हजार रुपये, एक महिंद्रा टीयूवी गाड़ी, 11 सेलफोन, एक पिस्टल व तीन कारतूस जब्त किया गया। 

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अपराधियों से मुक्त कराने में लगी थी दो प्रदेशों की पुलिस

मुजफ्फरपुर के वरीय पुलिस अधीक्षक जयंत कांत ने बताया कि किशन अग्रवाल को अपराधियों से मुक्त कराने में दो प्रदेशों की पुलिस लगी थी। बदमाश गोपालगंज में पुलिस दबिश के बाद भाग रहे थे। इस बीच सिलीगुड़ी के पुलिस कमिश्नर त्रिपुरारी और गोपालगंज पुलिस की सूचना पर जिले में छापेमारी शुरू कराई गई। पीपराकोठी-मुजफ्फरपुर हाईवे पर सिटी एसपी प्रमोद कुमार मंडल, पुलिस उपाधीक्षक पश्चिमी कृष्णमुरारी प्रसाद, नगर रामनरेश पासवान, मोतीपुर थानाध्यक्ष अनिल कुमार के साथ जांच शुरू की गई। सौ से ज्यादा की स्पीड में पीपराकोठी की ओर से मुजफ्फरपुर आ रही टीयूवी गाड़ी (रजिस्ट्रेशन नंबर-एसके-01 पीबी-6567) गुजरी। टीम ने मुस्तैदी से उक्त गाड़ी को रोका।

बदमाशों का खंगाला जा रहा आपराधिक इतिहास 

गाड़ी में कैश लेकर आग्नेयास्त्र के साथ भाग रहे चारों बदमाश गिरफ्तार किए गए। गिरफ्तार किए जानेवालों में पश्चिम बंगाल के सिलीगुड़ी जिले के प्रधाननगर थानाक्षेत्र के सालवारी सुकना रोड निवासी रंजीत गिमिरे, असम के तिनसुकिया थानाक्षेत्र के भीमपाड़ा निवासी रोबिन उरंग व अनवर हुसैन के अलावा गोपालगंज जिले के बैरम इंदरवा निवासी फैज अहमद शामिल हैं। रंजीत गिमिरे अपहरण कांड का मास्टर माइंड है। प्रदेश के विभिन्न जिलों में सभी बदमाशों का आपराधिक इतिहास खंगाला जा रहा है।

 सीए किशन को लेकर सिलीगुड़ी पुलिस जा चुकी है। बदमाशों ने सीए को अपहरण के बाद कई अलग-अलग ठिकानों पर रखा। उनमें गोपालगंज और इससे सटा उत्तर प्रदेश का भाग प्रमुख था। इस घटना को सुलझाना दोनों प्रदेशों की पुलिस के लिए चुनौती थी। सो, बड़ी सावधानी से किशन को सुरक्षित निकालना था। जब वे मिले तब उनकी तबीयत ठीक नहीं थी। इस कार्रवाई में सिलीगुड़ी व गोपालगंज पुलिस की भी अहम भूमिका रही।  

सात जनवरी को हुआ था अपहरण

बता दें कि सीए किशन कुमार अग्रवाल (45) परिवार के साथ सिलीगुड़ी के 13 नंबर वार्ड स्थित पंजाबीपाड़ा के गुरुनानक सरणी में रहते हैं। सात जनवरी की सुबह किशन अपनी पत्नी के साथ मंदिर गए थे। वहां से लौटने पर एक मीटिंग में जाने की बात कह अपनी बाइक से निकले थे। इसके बाद से उनके बारे में कोई जानकारी नहीं मिली। फिर परिजनों ने सिलीगुड़ी थाना में कांड संख्या 10/2020 के तहत प्राथमिकी दर्ज कराई थी।   


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