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Bank Stike: दो दिन बैंक हड़ताल से चार हजार करोड़ का व्यापार प्रभावित, 254 शाखाएं रहीं बंद Muzaffarpur News

Bank Stike 254 से अधिक बैंक शाखाओं में दूसरे दिन भी लटके रहे ताला। बैंकों के आंचलिक कार्यालय के समक्ष कर्मचारियों ने दिया धरना। सरकार की दमनकारी नीतियों का किया विरोध

By Murari KumarEdited By: Published: Sat, 01 Feb 2020 07:26 PM (IST)Updated: Sat, 01 Feb 2020 07:26 PM (IST)
Bank Stike: दो दिन बैंक हड़ताल से चार हजार करोड़ का व्यापार प्रभावित, 254 शाखाएं रहीं बंद Muzaffarpur News
Bank Stike: दो दिन बैंक हड़ताल से चार हजार करोड़ का व्यापार प्रभावित, 254 शाखाएं रहीं बंद Muzaffarpur News

मुजफ्फरपुर, जेएनएन। यूनाइटेड फोरम ऑफ बैंक यूनियन के आह्वान पर बैंक शाखाओं में दूसरे दिन भी ताले लटके रहे। शहर से लेकर गांव तक की करीब 254 शाखाएं बंद रहीं। इससे ग्र्राहकों में त्राहिमाम की स्थिति रही। वहीं जिले में दो दिनों की बैंक हड़ताल में चार हजार करोड़ का व्यापार प्रभावित हुआ। शहर से लेकर गांव तक के लाखों लोगों के बैंक संबंधी काम नहीं हो सके। आंदोलनकारी बैंकर्स ने निजी बैंकों को भी बंद कराया। इस दौरान कहीं स्वेच्छा से तो कही नोकझोंक के बाद बैंक बंद कराया गया। जिले में दूसरे दिन शनिवार को भी करीब दो हजार करोड़ से अधिक का व्यापार प्रभावित हुआ। लोगों को आर्थिक परेशानियों से जूझना पड़ा। 

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मांगें नहीं मानने पर 11 मार्च से तीन दिवसीय हड़ताल 

बैंक ऑफ इंडिया आंचलिक कार्यालय के समक्ष धरना को आइबॉक के अध्यक्ष एवं फेडरेशन ऑफ बैंक ऑफ इंडिया ऑफिसर्स एसोसिएशन के महासचिव सुनील कुमार ने संबोधित किया। सरकार ने मांगें नहीं मानी तो 11, 12 व 13 मार्च को तीन दिवसीय हड़ताल होगी। सरकार की दमनकारी नीतियों के विरोध में करो या मरो का निर्णय लिया गया है। मौके पर बैंक ऑफ इंडिया अधिकारी संघ के संयुक्त महासचिव डॉ.अच्युतानंद, जनार्दन यादव, जलज सुब्रत, अशोक ठाकुर, चंदन कुमार, एसएन सिंह, प्रिया गुप्ता आदि थीं। 

 भगवानपुर स्थित सेंट्रल बैंक ऑफ इंडिया के क्षेत्रीय कार्यालय के समक्ष अधिकारी संघ के प्रदेश महामंत्री मृत्युंजय मिश्रा ने कहा कि सरकार मर्जर और निजीकरण से बैंकों के राष्ट्रीयकृत स्वरूप को खत्म करने पर तुली है। मौके पर मनोज कुमार सिन्हा, देव कुमार सिंह, रूपेश कुमार, विनय कुमार, राहुल आनंद, विनय कुमार कर्ण, संजय कुमार श्रीवास्तव, अंजनी कुमार आदि थे।

 उधर, भारतीय स्टेट बैंक के जोनल कार्यालय के समक्ष अधिकारी संघ के पूर्व अध्यक्ष अजय कुमार, अमरनाथ प्रसाद, रंजन कुमार, सुधीर कुमार, कमलेश पासवान, दिलीप कुमार आर्या, आनंद कुमार श्रीवास्तव, प्रेम कुमार पटेल, दीपक पासवान, सुबोध कुमार, अमरेश कुमार सिंह, निर्भय सिंह आदि थे। इलाहाबाद जोनल कार्यालय के समक्ष ऑफिसर्स एसोसिएशन के प्रदेश अध्यक्ष विशाल सिन्हा ने कहा कि सरकार की हठधर्मिता से बैंकर्स अपने अधिकार के लिए आंदोलन करने को मजबूर हुए हैं। मौके पर सतीश कुमार, धमेंद्र झा, सुभाष साह, आशुतोष कुमार, रामकुमार सिंह, सर्वेश कुमार, सौरभ कुमार आदि थे। केनरा बैंक के जूरन छपरा शाखा के समक्ष कमलेश कुमार, साजिद रसूल, संजय कुमार, बीके झा, शहनवाज आलम, अर्चना कुमारी, पूजा शर्मा आदि थीं। 

एटीएम भी खाली, लोगों को झेलनी पड़ी परेशानी 

हड़ताल की वजह से जिले के अधिकतर एटीएम बूथ भी बंद रहे। वहीं, जहां रुपये थे वहां लंबी कतार लगी रही। ग्रामीण क्षेत्रों का सबसे बुरा हाल रहा। 

ये काम रहे प्रभावित 

- नहीं हो सका चेक का क्लियरिंग 

- फंड ट्रांसफर रहा प्रभावित 

- एटीएम में नहीं डाले गए नोट

- बैंक में जमा नहीं हो सका कैश

- बैंक से नहीं हुई राशि की निकासी

- नहीं खुला खाता 

- ड्राफ्ट व बैंकर्स चेक नहीं बने


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