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जानें क्यों गायघाट में चल रहे अल्ट्रासाउंड सेंटर को कर दिया गया सील, किस तरह की अनियमितताएं मिलीं

Illegal ultrasound center in Muzaffarpur अवैध रूप से चल रहे सेंटर पर भ्रूण जांच करते हुए पकड़ाया युवक चकमा देकर हो गया फरार। प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र प्रभारी तलब।

By Ajit KumarEdited By: Published: Thu, 27 Feb 2020 09:48 AM (IST)Updated: Thu, 27 Feb 2020 09:48 AM (IST)
जानें क्यों गायघाट में चल रहे अल्ट्रासाउंड सेंटर को कर दिया गया सील, किस तरह की अनियमितताएं मिलीं
जानें क्यों गायघाट में चल रहे अल्ट्रासाउंड सेंटर को कर दिया गया सील, किस तरह की अनियमितताएं मिलीं

मुजफ्फरपुर, जेएनएन। गायघाट में अवैध रूप से चल रहे अल्ट्रासाउंट सेंटर पर भ्रूण जांच करते हुए धावा दल ने पकड़ा। सेंटर को सील करते हुए प्राथमिकी दर्ज करने की कार्रवाई चल रही है। वहीं इस मामले में गायघाट पीएचसी प्रभारी से सीएस ने जवाब-तलब किया है। पूरे जिले के पीएचसी प्रभारी को भी अलर्ट किया गया है कि वे अपने इलाके में दो दिन के अंदर अभियान चलाकर जांच करें कि कितने अवैध पैथोलॉजी, अल्ट्रासाउंड सेंटर व नर्सिंग होम चल रहे हैं। एक सप्ताह के बाद यदि गुप्त सूचना पर धावा दल अवैध जांच सेंटर को पकड़ेगा तो संबंधित पीएचसी प्रभारी पर भी सख्ती होगी। जानकारी के अनुसार इससे पहले पीएडंटी एक्ट के तह बड़कागांव, सकरा व सरैया में मामला दर्ज हुआ है। कार्रवाई हुई है।

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सेंटर नाम रिपोर्ट पर्ची में अंतर

अपर मुख्य चिकित्सा पदाधिकारी डॉ.विनय कुमार शर्मा की निगरानी में पहुंचे धावा दल ने सेंटर पर एक महिला का अल्ट्रासाउंड करते हुए एक युवक को पकड़ा। युवक ने अपना नाम धर्मेंद्र कुमार बताया। कागजात दिखाने के बहाने वह चकमा देकर फरार हो गया। जांच में यह बात सामने आई कि मां दुर्गा डायग्नोस्टिक सेंटर के नाम से चलने वाले इस सेंटर की ओर से मरीजों को मां दुलारी डायग्नोस्टिक सेंटर एंड पैथोलॉजी कटरा के नाम से जांच रिपोर्ट दी जा रही थी। पीएडंडीटी एक्ट के उल्लंघन के साथ धोखाघड़ी का मामला भी सामने आया। पुर्जा व मशीन को टीम ने जब्त की। विशेष धावा दल के औचक जांच की सूचना मिलते हीआसपास के भी कई निजी जांच घर के संचालक दुकान बंद कर फरार हो गए। जिस केंद्र को पकड़ा गया है उसके पास पीएनडीटी एक्ट के तहत लाइसेंस नहीं था। जो युवक जांच कर रहा था उसके पास तकनीकी डिग्री नहीं थी।

केंद्रीय टीम का हो चुका है दौरा

जिले में भू्रण जांच को लेकर केंद्रीय टीम 11 से 13 फरवरी तक जिले में थी। समीक्षा कर नियमित अवैध अवैध सेंटर पर कार्रवाई की बात की है।

टीम में ये रहे शामिल

जिला फाइलेरिया पदाधिकारीं डॉ. हरेंद्र आलोक, डॉ. हसीब असगर, डॉ. रब्बानी, डॉ. कृष्णा सिंह, प्रधान सहायक गुणानंद चौधरी, सहायक अविनाश कुमार,विन्ध्यांचल मिश्रा, गायघाटके थानेदार व पुलिस बल शामिल थे।

सीएस ने बरती पूरी गोपनीयता

सिविल सर्जन डॉ.एसपी सिंह ने बताया कि दो दिन पहले उनके आवास पर एक व्यक्ति ने आकर शिकायत की थी। जब उसे कार्यालय में आवेदन देने की बात कही तो वह बोला सर सूचना लीक हो जाएगी। पहले भी शिकायत कर थक चुके हंै। उसके बाद सीएस ने आवेदन को अपने पास रखा। कार्यालय से टीम बनाई तथा सीधे टीम को गायघाट आने को कहा। टीम को बताया गया कि जिलाधिकारी निरीक्षण में रहना है। सीएस ने एसएसपी से संपर्क किया तथा एसीएमओ का नंबर देकर सुरक्षा देने की बात कही। जब धावा दल गायघाट पहुंचा तब सीएस ने सारी जानकारी देकर सीधे घटना स्थल पर रवाना किया। टीम जब पहुंची तो जांच करते हुए एक गैर डिग्रीधारी युवक को पकड़ा।

अपर मुख्य चिकित्सा पदाधिकारी डॉ.विनय कुमार शर्मा ने कहा कि सीएस को रिपोर्ट सौंपी गई है। सीजेएम कोर्ट में पीएनडीटी एक्ट के तहत केस होगा। एक महिला का अल्ट्रासाउंड किया जा रहा था। कोई लाइसेंस नहीं था। दवाखाना के पीछे संचालन किया जा रहा था। जिस महिला की जांच हो रही थी, उसके पुर्जा के अनुसार भू्रण जांच की बात सामने आ रही है।  


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