लापरवाही: 'मातृ वंदना' को नजरअंदाज करनेवाली सेविकाओं की जाएगी नौकरी, ऐसी सेविकाओं की संख्या 1370
एक वर्ष में एक भी आवेदन प्राप्त नहीं करने वाली सेविकाओं पर चयन मुक्ति का खतरा,चयन मुक्ति से पूर्व अपना पक्ष रखने के लिए एक मौका दिया जाएगा।
मुजफ्फरपुर, जेएनएन। 'प्रधानमंत्री मातृ वंदना' को नजरअंदाज करने वाली सेविकाओं की नौकरी पर खतरा मंडरा रहा है। जिन सेविकाओं की नौकरी पर खतरा मंडरा रहा है उनकी संख्या 1370 है। विभाग ने योजना के तहत एक वर्ष में एक भी आवेदन प्राप्त नहीं करने वाली सेविकाओं की संख्या तैयार कर ली है। विभाग के अनुसार, योजना के तहत एक वर्ष में एक भी आवेदन नहीं प्राप्त करने वाली 1370 सेविकाओं को चयन मुक्त किया जाएगा।
चयन मुक्ति से पूर्व सेविकाओं को अपना पक्ष रखने के लिए एक मौका दिया जाएगा। आइसीडीएस की जिला प्रोग्राम पदाधिकारी ललिता कुमारी ने सभी सीडीपीओ को पत्र लिख कर स्वयं, प्रभारी महिला पर्यवेक्षिका एवं संबंधित सेविकाओं के साथ लिखित स्पष्टीकरण के साथ उपस्थित होने का आदेश दिया है।
उदासीनता की वजह से संतोषजनक नहीं है जिले की प्रगति
डीपीओ ने पत्र में कहा है कि सेविका एवं महिला पर्यवेक्षिका की उदासीनता की वजह से जिले की प्रगति संतोषजनक नहीं है। जिले में संचालित 3703 केंद्रों के लिए 33327 लाभुकों का लक्ष्य था। मगर, अब तक मात्र 7521 आवेदन ही विभाग को मिले हैं। ज्ञात हो कि योजना के तहत गर्भवती व धातृ महिला को पांच हजार रुपये मिलती है।
कब कहां की होगी सुनवाई
परियोजना - तिथि
औराई, कटरा : 12 जनवरी।
मुशहरी नगर, प्रखंड : 14 जनवरी
सकरा, ढोली : 15 जनवरी।
कांटी, मड़वन, मीनापुर : 16 जनवरी।
सरैया, पारू : 17 जनवरी।
बरूराज, साहेबगंज : 18जनवरी।
बंदरा, गायघाट : 19 जनवरी।
कुढऩी, बोचहां : 21 जनवरी।