जिले भर में भक्तिभाव से हुई अनंत चतुर्दशी की पूजा
जमुई। जिले भर में रविवार को भाद्रपद मास के शुक्ल पक्ष की चतुर्थी को अनंत चतुर्दशी व्रत मनाया गया।
जमुई। जिले भर में रविवार को भाद्रपद मास के शुक्ल पक्ष की चतुर्थी को अनंत चतुर्दशी व्रत मनाया गया। शास्त्रों में अनंत चतुर्दशी का विशेष महत्व है। इस दिन भगवान विष्णु की विशेष रूप से पूजा-अर्चना की जाती है। माना जाता है कि भगवान विष्णु अनंत चतुर्दशी के व्रत करने वाले भक्तों के कष्टों को दूर करते हैं। पौराणिक कथा के अनुसार महाभारत में जब युधिष्ठिर कौरवों के साथ जुए में अपना समस्त राज्य हार बैठे थे तब पांडवों के दुख दूर करने के लिए भगवान कृष्ण अनंत चतुर्थी व्रत रखने को कहा था तब पांडवों ने इस व्रत को किए और उसके बाद पांडवों का अपना राज्य मिल गया था माना जाता है कि इस व्रत में भक्तों को 14 गांठ वाली रेशम का धागा लगाकर भगवान विष्णु का पूजा-अर्चना कर दाहिने हाथ में बांधने की परंपरा है माना जाता है कि इस व्रत को करने से समस्त मनोकामनाएं पूर्ण होती है। यह ¨हदुओं का आस्था का पर्व है इसको ले सुबह 7:00 बजे से ही ही स्थानीय कई मंदिरों में भक्तों की भीड़ अनंत चतुर्थी व्रत की कथा सुनने कचहरी चौक के पास बजरंगबली मंदिर में पंडित मनोज पांडे द्वारा अनंत चतुर्दशी व्रत का कथा सुनाया गया। साथ ही पूजा-अर्चना के बाद प्रसाद वितरण किया गया।
सिमुलतला : रविवार को अनंतचतुर्थी को लेकर क्षेत्र के मंदिरों में पूजा-अर्चना करने वाले श्रद्धालुओं की भीड़ देखी गई। लोग पूजा करने के लिए फूल, बेलपत्र के साथ दूध की खरीदारी में व्यस्त देखे गए। जगत पालन हरता भगवान विष्णु की पूजा ही अनंत व्रत की पूजा है। पौराणिक कथाओं के अनुसार पांडव कौरवों से जुआ में सब कुछ हार जाने के बाद भगवान श्रीकृष्ण के कहने पर अनंतचतुर्दशी व्रत किया। इस परंपरा के अनुसार यह व्रत आज भी विधि-विधान पूर्वक किया जाता आ रहा है। इस पूजा के बाद श्रद्धालु अपने-अपने भुजाओं में पीला धागा बांधते हैं। पूजा को लेकर चहुंओर वैदिक मंत्रोच्चार से गुंजायमान होता रहा। व्रत को लेकर फलों के दामों में वृद्धि देखी गई। सबसे ज्यादा महंगा खीरा एवं दूध में देखी गई।
अलीगंज: प्रखंड में अनंत चतुर्दशी नेम निष्ठा के साथ भगवान विष्णु की पूजा-अर्चना कर अपने-अपने बाजू पर अनंत सूत बांधा। पूजा को लेकर प्रखंड विभिन्न गांव के मंदिरों व घरों में विद्वान पंडितों से लोगों ने अनंत भगवान की कथा सुनी। ऐसा माना जाता है कि व्रत रखने के साथ यदि जातक श्री विष्णु का पाठ करता है तो उसकी समस्त मनोकामना पूर्ण होती है।
सिकन्दरा : रविवार को स्थानीय केशरबानी ठाकुरबाड़ी एवं मां जगदम्बा मन्दिर में श्रद्धालुओं की भीड़ उमड़ पड़ी। पूजन सामग्री खरीदने को लेकर एक दिन पूर्व स्थानीय बाजारों में गहमागहमी का आलम छाया रहा। इस मौके पर श्रद्धालु आस्थानुसार अनंत भगवान की कथा श्रवण कर क्षीरसागर के प्रतीक दूध को पवित्र पात्र में रखकर खीरे को मंदार की मथनी बनाकर अमृत मंथन कर नीर का प्रसाद ले अनंत डोरा का धारण किया। सुख, शांति, उन्नति, प्रगति की ईश्वर से कामना की। ज्ञात हो कि अनंत चतुदर्शी का त्योहार प्रत्येक साल भादों मास के शुक्ल पक्ष के चतुर्दशी तिथि को मनाया जाता है।