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बिहार के लोगों का डेढ़ सौ करोड़ लेकर फरार हुई नन बैंकिंग कंपनी

अलकेमिस्ट नाम की एक नन-बैंकिंग कंपनी बिहार के लोगों के डेढ़ सौ करोड़ रूपये लेकर फरार हो गई। लोगों को 16 साल में रकम दस गुना करने का लालच देकर कंपनी ने पैसा लिया था।

By Ravi RanjanEdited By: Published: Thu, 04 May 2017 01:35 PM (IST)Updated: Thu, 04 May 2017 11:08 PM (IST)
बिहार के लोगों का डेढ़ सौ करोड़ लेकर फरार हुई नन बैंकिंग कंपनी
बिहार के लोगों का डेढ़ सौ करोड़ लेकर फरार हुई नन बैंकिंग कंपनी

जमुई [अरविंद कुमार सिंह]। निवेशकों को चूना लगाने वाले नन-बैंकिंग कंपनियों की सूची में एक और नाम अलकेमिस्ट का जुड़ गया। जमुई में पिछले एक माह से इस कंपनी के दफ्तर पर ताला लटका हुआ है। निवेशकों की संख्या और किए गए निवेश की रकम के लिहाज से तकरीबन डेढ़ सौ करोड़ रुपये लेकर कंपनी के फरार हो जाने की बात बताई जा रही है। निवेशक कार्यालय का चक्कर लगाकर अगले दिन खुलने की उम्मीद लिए घर लौट रहे हैं।

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ऐसे ही निवेशकों में बैंक के समक्ष मिले खैरा प्रखंड के नीमनवादा निवासी मुनेश्वर महतो ने बताया कि वर्ष 2010 में उसने एक लाख रुपये एमआइसी स्कीम (मंथली इंवेस्टमेंट स्कीम) में जमा किए थे। दस हजार रुपये पत्नी जिरवा देवी के नाम से तथा दस-दस हजार रुपये दो बेटों के नाम से जमा कराया था।

एमआइसी स्कीम में पहले तीन साल तक मुनेश्वर महतो को 1050 रुपये प्रतिमाह बतौर ब्याज मिलता रहा। फिर रिन्यूअल करने के बाद 875 रुपये प्रतिमाह 2016 तक मिला। दिसंबर 2016 से उन्हें रकम नहीं मिली। इसी प्रकार पत्नी और बेटे के नाम जमा एफडी की मियाद 14 अगस्त 2016 को पूरा हो जाने के बाद भी उन्हें अब तक पैसा नहीं मिला। पिछले 31 मार्च के बाद से बैंक बंद है।

शाहपुर के रघुनंदन कुमार, नारडीह के राजेश साह, विनोद साह, सिकंदरा प्रखंड के पूर्व प्रमुख सिंधु कुमार पासवान, मुखिया फूलेश्वर ठाकुर, अकौनी गांव के संजय सिंह, कुमार के शंभू सिंह आदि ने भी ऐसी ही शिकायत की। बैंक बंद होने की खबर से उन लोगों की भी बेचैनी बढ़ गई है।

निवेशकों की मानें तो बड़ी संख्या में लोगों ने अलकेमिस्ट नामक नन-बैंकिंग कंपनी में रुपये जमा कराए थे। 16 साल में दस गुना तथा एमआइसी स्कीम में निवेश करने वाले निवेशकों की संख्या ज्यादा है। एक अनुमान के मुताबिक जिले में निवेशकों ने डेढ़ सौ करोड़ से ज्यादा रकम जमा कराए गए थे। छानबीन करने पर शाखा प्रबंधक सुबोध कुमार का मोबाइल नम्बर डायवर्ट बता रहा है।

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कंपनी के क्षेत्रीय पदाधिकारी विनोद कुमार ने बताया कि पटना और भागलपुर में कार्यालय पिछले चार माह से बंद है। वहीं, जिलाधिकारी डॉ. कौशल किशोर का कहना है कि उन्हें मामले की जानकारी नहीं है। शिकायत मिलने पर कार्रवाई की जाएगी। 

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