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बंद रही ओपीडी, इमरजेंसी में तैनात रहे चिकित्सक

जहानाबाद। कोलकाता के मेडिकल कॉलेज एवं अस्पताल में चिकित्सकों पर हुए हमले के विरोध में जिले के चिकित्सकों ने सोमवार को स्वास्थ्य सेवाओं को बाधित रखकर अपने गुस्से का इजहार किया।

By JagranEdited By: Published: Mon, 17 Jun 2019 11:36 PM (IST)Updated: Tue, 18 Jun 2019 06:30 AM (IST)
बंद रही ओपीडी, इमरजेंसी में तैनात रहे चिकित्सक
बंद रही ओपीडी, इमरजेंसी में तैनात रहे चिकित्सक

जहानाबाद। कोलकाता के मेडिकल कॉलेज एवं अस्पताल में चिकित्सकों पर हुए हमले के विरोध में जिले के चिकित्सकों ने सोमवार को स्वास्थ्य सेवाओं को बाधित रखकर अपने गुस्से का इजहार किया। इस घटना को लेकर सरकारी अस्पताल के चिकित्सकों ने ओपीडी को बंद रखी। हालांकि, सिविल सर्जन डॉ. विजय कुमार सिन्हा ने बताया कि ओपीडी तो बंद रही लेकिन इमरजेंसी में मरीजों का इलाज हुआ। उन्होंने बताया कि सदर अस्पताल में इलाज के लिए आने वाले मरीजों को कोई परेशानी नहीं हुई। सदर अस्पताल की ओपीडी बंद रहने से मरीजों को भारी परेशानी हुई। प्रत्येक दिन की अपेक्षा मरीज सुबह सात बजे से ही अस्पताल पहुंचना शुरू कर दिए थे। वे लोग अपने बारी के इंतजार में रजिस्ट्रेशन काउंटर पर खड़े हो गए। उन्हें नहीं पता था कि आज ओपीडी बंद है। इलाज नहीं होने पर सुगमतिया देवी, प्रमिला देवी, रामसेवक साव, कन्हाई प्रसाद आदि मरीजों ने अस्पताल प्रशासन के खिलाफ नाराजगी जाहिर की। उनलोगों ने कहा कि इतनी भीषण गर्मी में इलाज कराने आए हैं। अस्पताल प्रशासन को पहले से सूचना प्रसारित कर देनी चाहिए थी। एक महिला मरीज ने तो इतना तक कह दिया कि चिकित्सक को क्या पता की गर्मी क्या होती है। वे लोग एसी में बैठ कर इलाज करते हैं। छोटे बच्चों के साथ आने वाली महिला मरीजों को सबसे ज्यादा परेशानी हुई। हमलोग सोच कर आए थे कि जल्दी इलाज हो जाएगा तथा लू शुरू होने से पहले घर वापस लौट जाएंगे। मरीज अस्पताल परिसर में बैठ कर दोपहर बिताए।

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