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गंडक के जलस्तर में वृद्धि जारी, बाढ़ से 22 हजार आबादी प्रभावित

गोपालगंज। नेपाल के तराई इलाके में भारी बारिश के बाद वाल्मिकी नगर बराज से लगातार पानी छोड़े जाने के कारण शुक्रवार को भी गंडक नदी के जलस्तर में बढ़ोत्तरी जारी रहा। इस बीच नदी का पानी निचले इलाके के सात नए गांवों में प्रवेश कर गया। नदी का जलस्तर लगातार बढ़ने के कारण सदर प्रखंड के अलावा मांझा बरौली सिधवलिया व बैकुंठपुर प्रखंडों में 52 गांवों की 22 हजार से अधिक की आबादी प्रभावित हुई है।

By JagranEdited By: Published: Fri, 18 Jun 2021 06:42 PM (IST)Updated: Fri, 18 Jun 2021 06:42 PM (IST)
गंडक के जलस्तर में वृद्धि जारी, बाढ़ से 22 हजार आबादी प्रभावित
गंडक के जलस्तर में वृद्धि जारी, बाढ़ से 22 हजार आबादी प्रभावित

गोपालगंज। नेपाल के तराई इलाके में भारी बारिश के बाद वाल्मिकी नगर बराज से लगातार पानी छोड़े जाने के कारण शुक्रवार को भी गंडक नदी के जलस्तर में बढ़ोत्तरी जारी रहा। इस बीच नदी का पानी निचले इलाके के सात नए गांवों में प्रवेश कर गया। नदी का जलस्तर लगातार बढ़ने के कारण सदर प्रखंड के अलावा मांझा, बरौली, सिधवलिया व बैकुंठपुर प्रखंडों में 52 गांवों की 22 हजार से अधिक की आबादी प्रभावित हुई है। गंडक के जलस्तर में तेजी से बढ़ोत्तरी होने के कारण पूरी रात अधिकारियों की टीम तटबंध की निगरानी में लगी रही। जिलाधिकारी डा. नवल किशोर चौधरी तथा एसपी आनंद कुमार ने तमाम तटबंधों का दौरा कर दियारा इलाके की स्थिति का जायजा लिया।

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नेपाल के तराई इलाके में लगातार भारी बारिश हो रही है। इसके साथ ही वाल्मिकी नगर बराज से गंडक नदी में पानी छोड़ने का सिलसिला लगातार जारी है। बराज से बुधवार को अधिकतम 4.15 लाख क्यूसेक पानी छोड़े जाने के बाद गुरुवार को डिस्चार्ज की रफ्तार कम हुई है। बावजूद इसके डिस्चार्ज लेबल 1.60 लाख पर रहने के कारण गंडक के जलस्तर में बढ़ोत्तरी का क्रम जारी है। ऐसे में प्रशासनिक स्तर पर जिले के छह प्रखंडों की स्थिति पर कम्यूनिकेशन प्लान के माध्यम से नजर रखी जा रही है। उधर सदर अंचल के सीओ विजय कुमार सिंह सदर अंचल के दियारा इलाके में नजर रख रहे हैं। सीओ ने आम लोगों को नदी के किनारे नहीं जाने का निर्देश जारी किया है। उन्होंने नदी के जलग्रहण क्षेत्र में रहने वाले लोगों को विशेष तौर पर सतर्क रहने को कहा है। ताकि किसी भी विकट परिस्थिति में किसी तरह के जानमाल की क्षति नहीं हो। वहीं मांझा प्रखंड के गौसिया, पुरैना, भैसही में तटबंधों का डीएम ने निरीक्षण कर गंडक नदी के बढ़ते जलस्तर को देखते हुए निचले इलाके के ग्रामीणों को ऊंचे स्थान पर जाने का निर्देश दिया। जिन गांवों में गंडक नदी के जलस्तर के बढ़ने से अधिक प्रभाव पड़ा है उनमें सदर प्रखंड के जगीरी टोला गांव के 14 टोला के अलावा कठघरवां, खैरटिया रामनगर, मंझरियां, मलाही टोला, मकसूदपुर, खाप मकसूदपुर तथा जगीरी टोला, बैकुंठपुर प्रखंड के गम्हारी पंचायत के तीन गांवों के अलावा फैजुल्लाहपुर पंचायत के दो गांव, मांझा प्रखंड के निमुईयां, एवं बरौली प्रखंड सलेमपुर पंचायत के तीन गांव तथा कुचायकोट प्रखंड के तीन गांव शामिल हैं। कमी के बाद शुक्रवार को फिर बढ़ने लगा जलस्तर

गोपालगंज : बुधवार की शाम चार बजे के बाद वाल्मिकीनगर बराज से पानी के डिस्चार्ज में लगातार कमी आ रही थी। शुक्रवार की सुबह पानी के डिस्चार्ज का लेबल 1.40 लाख तक पहुंचने के बाद इसमें फिर बढ़ोत्तरी प्रारंभ हो गई। शुक्रवार की शाम 1.60 लाख क्यूसेक पर डिस्चार्ज लेबल रहा। जिसके कारण गंडक नदी का जलस्तर कम नहीं हो रहा है। प्रशासन ने किया 30 गांवों के प्रभावित होने का दावा

शुक्रवार को जिला प्रशासन ने प्रेस बयान जारी कर गंडक नदी के जलस्तर में बढ़ोत्तरी के बाद 30 गांवों के प्रभावित होने का दावा किया है। प्रशासनिक दावे के अनुसार जिले में गंडक नदी का जलस्तर बढ़ने का क्रम जारी है। प्रशासनिक दावे के अनुसार 30 में से 27 गांव बाढ़ के पानी से घिरे हैं। इन गांवों के लोगों को सुरक्षित स्थान पर पहुंचाने के लिए चार नावों को तैनात किया गया है। अबतक बाढ़ से प्रभावित इलाकों से पांच हजार की आबादी को बाहर निकलने का दावा जिला प्रशासन ने किया है। हालांकि गैर सरकारी आंकड़ों के अनुसार 52 गांवों की 22 हजार से अधिक की आबादी सीधे तौर पर बाढ़ से प्रभावित हुई है।


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