वजीरगंज सीएचसी में लगी टीबी जांच ट्रूनेट मशीन
गया देश को आगामी 2035 तक टीबी रोग मुक्त करने के उद्देश्य से अब निकटतम सीएचसी में जांच के लिए ट्रूनेट मशीनें लगाई जा रही है।
गया : देश को आगामी 2035 तक टीबी रोग मुक्त करने के उद्देश्य से अब निकटतम सीएचसी में जांच के लिए ट्रूनेट मशीनें लगाई जा रही है। वजीरगंज सीएचसी में भी ट्रूनेट मशीन लग गई है और क्षय रोग की जांच सुविधा बहाल कर दी गई।
जिला यक्ष्मा पदाधिकारी डॉ. पंकज कुमार ने बताया कि टीबी अब कोई बड़ी बीमारी नहीं है, लेकिन शुरुआती लक्षण वाले मरीज इसकी समय से जांच नहीं करवा पाते हैं, जिसके कारण बीमारी शरीर में घर कर जाती है और जबतक इसका पता चलता है लोग लंबे इलाज के प्रोसेस में चले जाते हैं। स्थानीय स्तर पर मुफ्त में क्षय रोग जांच सुलभ कराने के पीछे सरकार की मंशा यही है कि चिकित्सक लक्षण मिलते हीं तुरंत जांच कर इसका इलाज शुरू कर दें, ताकि मरीज ज्यादा गंभीर स्टेज और लंबे इलाज के चक्कर में न पड़ें तथा देश से टीबी को जड़ से खत्म किया जा सके। पहले भी सरकारी स्तर पर इसकी जांच होती थी, लेकिन लैब जांच कर्मी पहले श्वाब लेकर उसे जिला अस्पताल में भेजते थे और जांच प्रक्रिया में समय लगता था। जिसके कारण कई मरीज जांच रिपोर्ट आने से पहले ही चिकित्सकों के ट्रेस से बाहर हो जाते थे, लेकिन अब ऐसा नहीं होगा। वजीरगंज सीएचसी में मोहड़ा, टनकुप्पा एवं फतेहपुर पीएचसी के मरीजों का भी श्वाब जांच होगा और तुरंत उसकी रिपोर्ट भेजी जा सकेगी। इससे मरीजों की पहचान और उसके इलाज में क्षेत्र को बहुत सहायता मिलेगी। मौके पर प्रा.चि.पदा. डॉ. नन्दलाल प्रसाद, वरीय चिकित्सा पदाधिकारी डॉ. विद्याभूषण, लैब जांचकर्मी अजय कुमार, पवन कुमार सहित अन्य उपस्थित थे।