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Rohtas News: सासाराम में उगते सूर्य को अर्घ्य के साथ छैती छठ संपन्‍न, कोरोना से मुक्ति दिलाने की प्रार्थना

Rohtas News बिहार के सासाराम में उगते सूर्य को अर्घ्य के साथ छैती छठ संपन्‍न हो गया। इस पर्व में श्रद्धालुओं ने कोरोनावायरस के संक्रमण से मुक्ति दिलाने की प्रार्थना की गई। अधिकांश लोगों ने घरों में ही व्रत किया।

By Amit AlokEdited By: Published: Mon, 19 Apr 2021 10:33 AM (IST)Updated: Mon, 19 Apr 2021 10:33 AM (IST)
Rohtas News: सासाराम में उगते सूर्य को अर्घ्य के साथ छैती छठ संपन्‍न, कोरोना से मुक्ति दिलाने की प्रार्थना
रोहतास में छठ का अर्घ्‍य देते व्रती। तस्‍वीर: जगारण।

रोहतास, जागरण संवाददाता। उगते सूर्य को घरों में तथा नदी घाटों व नहरों में अर्ध्य अर्पण के साथ सोमवार को चार दिवसीय चैती छठ व्रत संपन्न हो गया। कोरोना वायरस के संक्रमण से बचाव को ले कर मुख्य पार्षद विशाखा सिंह ने अपने घर की छत पर यह पर्व को किया और अपने परिवार व नगर वासियों के लिये सुख-समृद्धि की कामना की। छठ के दौरान देश-दुनिया में फैले हुए कोरोनावायरस संक्रमण से छुटकारा दिलाने की प्रार्थना भी भगवान भास्कर से की गई। हालांकि, रोक के बावजूद कई लोगों ने झारखंडी मंदिर के समीप सोन नद के विभिन्न घाटों पर इस व्रत को किया।

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इस दौरान महिलाओं ने नदी के छठ घाटों पर पूजा के गीत गाए।  ग्रामीण क्षेत्रों से आई हुई महिलाएं तो पूरी रात झारखंडी मंदिर के परिसर में ही रुके रही और सभी श्रद्धालु भक्ति में लीन होकर छठ मईया की गीत गाती रहीं।  सोन नदी के कृष्णा घाट, हनुमान घाट  पर सूर्य भगवान को अर्घ्य देकर सुख-समृद्धि शांति की कामना की गई।  

सूर्य देव को अर्ध्य देने के बाद चढ़ाया हुआ प्रसाद ठेकुआ, कचवनीया, फल, का प्रसाद सूर्य देवता को चढ़ाया गया जिसके बाद  व्रतधारियों ने प्रसाद लोगों में बांटा।  कहते हैं इस व्रत से संतान सुख प्राप्त होता है।  मान्यताओं के अनुसार सूर्य की पहली किरण को ही सविता शक्ति अथवा छठी मईया भी कहा जाता है।


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