GT Road: सोन नदी में मिले जीटी रोड के अवशेष का डीएम ने किया मुआयना, एएसआइ को सौंपी जाएगी रिपोर्ट
सोन नदी में जीटी रोड के मिले अवशेष की एएससआइ ने रिपोर्ट मांगी है। उस आलोक में डीएम एवं एसपी ने यहां का निरीक्षण किया। मालूम हो कि शेरशाह सूरी ने इस जीटी रोड का निर्माण कराया था।
जागरण संवाददाता, औरंगाबाद । बारुण में सोन नदी में मिले ग्रैंड ट्रंक रोड (जीटी रोड) के मूल अवशेष (Remains) को देखने डीएम और एसपी बुधवार को पहुचे। जीटी रोड के इस मूल रूप को खोज निकालने के बाद एएसआइ के निर्देश पर डीएम सौरभ जोरवाल एवं एसपी सुधीर कुमार पोरिका ने सोन नदी में जीटी रोड के मूल अवशेष को देखा। सड़क की फोटोग्राफी की। वीडियो भी बनाया। मालूम हो कि यह बारुण से एनीकाट (डेहरी ऑन सोन) के बीच करीब चार किलोमीटर क्षेत्र में पाया गया है। इस सड़क को शेरशाह सूरी मार्ग भी कहा जाता है।
आसपास बालू खनन पर लगा दी गई रोक
सड़क को देखने के बाद डीएम ने कहा की भारतीय पुरातत्व सर्वेक्षण के निर्देश पर जीटी रोड के मूल अवशेष को देखा गया है। सड़क का मूल अवशेष आज भी मौजूद है। डीएम ने कहा की जीटी रोड का मिले अवशेष की रिपोर्ट एएसआइ को भेजी जाएगी। सड़क के मिले अवशेष के संबंध में स्थानीय सीओ व बीडीओ से भी रिपोर्ट मांगी जा रही है। अगर एएसआइ इसे अपने अधीन ले लेता है तो इस सड़क के आसपास बालू का खनन पर रोक लगाई जाएगी। हालांकि अभी से ही इस ऐतिहासिक स्थल (Historical Relics) के आसपास बालू का खनन पर रोक लगाई गई है।
2017 में एएसआइ की टीम ने लिया था जायजा
बताया जाता है की वर्ष 2017 में एएसआइ की एक टीम बारुण पहुंची थी और सोन नदी में बारुण से एनीकाट के बीच जीटी रोड का मूल अवशेष का पता लगाया था। टीम के अधिकारियों ने रोड का मूल अवशेष को देखने के बाद दिल्ली लौट गई थी। तब टीम के अधिकारियों ने जागरण को बताया था की सोन नदी में जीटी रोड का जो अवशेष मिला है उसका निर्माण शेरशाह सूरी ने कराया था। टीम के अधिकारियों ने यह भी बताया था की जीटी रोड का निर्माण बांग्लादेश से पाकिस्तान के पेशावर होते हुए काबुल तक कराया गया था तब दक्षिण एशिया महादेश की यह सबसे लंबी सड़क थी। हालांकि अब इस सड़क को एनएचएआइ ने एशियन हाइवे वन घोषित किया है। यह सड़क दिल्ली से कोलकाता को जोड़ती है। पूर्व प्रधानमंत्री अटल बिहारी वाजपेयी के कार्यकाल में इस सड़क का स्वर्णिम चतुर्भुज परियोजना के तहत टू लेन से फोरलेन कराया गया था। अब इस सड़क का निर्माण सिक्स लेन कराया जा रहा है।