वैदिक मंत्रोच्चार व शंखनाद के बीच 15 दिवसीय पितृपक्ष मेला का आगाज
-मगध के गया बोधगया व पावापुरी सबसे पवित्र व आस्था का केंद्र उप मुख्यमंत्री ----------- -पितृपक्ष मेला महासंगम की स्मारिका विमोचित -बोधगया में 145 करोड़ से अंतरराष्ट्रीय ऑडिटोरियम का हो रहा निर्माण ----------- जागरण संवाददाता गया
गया । विष्णुपद प्रांगण में गुरुवार को पंद्रह दिवसीय पितृपक्ष मेला वैदिक मंत्रोच्चार व शंखनाद के बीच प्रारंभ हो गया। पितृपक्ष मेला महासंगम की स्मारिका तर्पण का विमोचन किया गया। इससे पहले सूबे के डिप्टी सीएम सुशील कुमार मोदी ने दीप जलाकर कार्यक्रम की शुरुआत की। उन्होंने कहा कि मगध के गया, बोधगया व पावापुरी सबसे पवित्र व आस्था का केंद्र है। यही वजह है कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने बोधगया में 145 करोड़ की लागत से अंतरराष्ट्रीय ऑडिटोरियम का निर्माण कराया जा रहा है, जो 2020 तक बनकर तैयार हो जाएगा। इस ऑडिटोरियम में 2500 लोगों के बैठने की क्षमता है। इसके बन जाने के बाद यहां अंतरराष्ट्रीय धर्म संसद व सेमिनार सहित अन्य कार्यक्रम होंगे।
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फल्गु में नहीं गिरेगा गंदा नाला
उन्होंने कहा कि फल्गु नदी में नाले का पानी नहीं गिरेगा। नाला के पानी को ट्रीट कर गया और आसपास सिंचाई के उपयोग किया जाएगा।
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विपक्ष पर निशाना, गया और
बोधगया का नहीं कराया विकास
उन्होंने इशारे में विपक्ष पर निशाना साधते हुए कहा कि 13 वर्ष पहले गया और बोधगया का विकास नहीं हुआ। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी व बिहार की सरकार ने व्यक्तिगत दिलचस्पी लेते हुए गया के बारे में सोचे हैं। अब विकास दिख रहा है। हृदय योजना से कई तालाब रमणीक स्थल बन गया है, जो पिंडदानी के साथ-साथ आम लोगों के लिए भी आकर्षक का केंद्र बना हुआ है। ऐसे स्थल पर स्वच्छ और शुद्ध पानी पहुंचाया गया है। उन्होंने इस बात पर आश्चर्य व्यक्त किया कि दक्षिण भारत की मंदिर स्वच्छ और सुंदर है, लेकिन उत्तर भारत की मंदिर में गंदगी रहती है। जो चिंता का विषय है।
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नहीं दिखना चाहिए आवारा पशु
उन्होंने कहा कि विष्णुपद सहित मेला क्षेत्र में आवारा पशु से पिंडदानियों को परेशानी होती है। इसलिए डिप्टी सीएम ने नगर निगम व जिला प्रशासन को निर्देश दिया कि मेला अवधि में आवारा पशु नहीं दिखना चाहिए। आवारा पशु को गौशाला में रखने को कहा गया।
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अटल बिहारी की देन है हवाई
अड्डा, मिली अंतरराष्ट्रीय मान्यता
उन्होंने कहा कि दिवंगत प्रधानमंत्री अटल बिहारी वाजपेयी के प्रयास से ही गया हवाई अड्डा को अंतरराष्ट्रीय पहचान मिली। आज इसका विस्तार हुआ है। एक दर्जन देशों के विमान गया एयरपोर्ट पर उतर रहे हैं। प्रत्येक वर्ष सैकड़ों विदेशी श्रद्धालु आते हैं। यह एयरपोर्ट बौद्धधर्म के लिए विशेष आवागमन का केंद्र है।
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तीन पहाड़ों पर बनेगा रोप-वे
डिप्टी सीएम ने कहा कि गया के ब्रह्मायोनि पहाड़, रामशिला पहाड़ व ढ़ुगेश्वरी पहाड़ पर देश व विदेशों के श्रद्धालु आते हैं। इनकी महत्ता को ध्यान में रखकर इन पहाड़ों पर रोप-वे (रजू मार्ग) का निर्माण कराया जाएगा। यह कार्य एक माह के अंदर शुरू होगी।
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जलस्रोतों को अतिक्रमणकारी
कर दें खाली
डिप्टी सीएम ने जलस्रोत यानि तालाब, नहर, आहर, पोखर, पईन, कुआ ऐसे स्थल को अतिक्रमणकारी खाली करने की चेतावनी दी। इनका जीर्णोद्धार होना है। जल-जीवन और हरियाली के तहत जीर्णोद्धार होगा। जल संचय और संरक्षण बहुत ही जरूरी है। प्रत्येक व्यक्ति को पानी के एक-एक बूंद को बचाने की सलाह दी। साथ ही घरों के छत की पानी को संग्रह कर धरती तक पहुंचाए। इससे ग्राउंड रिचार्ज होगा। सार्वजनिक स्थान पर डेढ़ करोड़ पौधे लगाए गए।