रसोइयों ने बीआरसी में जड़ा ताला, की नारेबाजी
अपनी मांगों के समर्थन में प्रखंड क्षेत्र की सभी रसोइयों ने बुधवार को भी बीआरसी में ताला जड़कर प्रदर्शन करते हुए सरकार के विरोध में नारेबाजी की।
मोतिहारी । अपनी मांगों के समर्थन में प्रखंड क्षेत्र की सभी रसोइयों ने बुधवार को भी बीआरसी में ताला जड़कर प्रदर्शन करते हुए सरकार के विरोध में नारेबाजी की। इसका नेतृत्व कर रही चांदतारा खातून ने कहा कि हमे साढे बारह सौ रुपए नही चाहिए। हम लोगों को अब अठारह हजार से कम नही चाहिए। साथ ही कहा कि हमे मानदेय नही वेतनमान चाहिए। सभी सरकारी कर्मियों को बारह माह का वेतन व मानदेय दिया जाता है। लेकिन हम लोगों को दस माह का ही पैसा दिया जाता है। सरकार की इस दोरंगी नीति का हम विरोध करते है। हमारे साथ नाइंसाफी क्यों किया जा रहा है। सरकार ने हमलोगों को खाना बनाने के लिए रखा है। लेकिन प्रधान शिक्षकों के द्वारा हमलोगों से शौचालय की साफ-सफाई कराई जाती है। जो न्यायसंगत नहीं है। हम लोगों पर चावल चोरी का भी आरोप लगाया जाता है। मांगे पूरी नही होने तक हमलोगों का आन्दोलन जारी रहेगा। मौके पर रामाकांत आजाद, मालती देवी, रंभा देवी, कलावती देवी, चंदेशवर महतो, घुनिया देवी, रीता देवी, रामावती देवी, सीमा देवी, मंजू देवी, संजू देवी, एकमा देवी, पूर्णिमा देवी, मीना देवी, रमपति देवी, सरस्वती देवी, सुनैना देवी, तारा देवी, प्रतिमा देवी सहित अन्य रसोइया मौजूद थी। आदापुर : प्रदेश संध के आह्वान पर प्रखंड परिसर स्थित बीआरसी कार्यालय के समक्ष रसोइयों ने तीसरे दिन भी धारना प्रदर्शन किया। जिसका नेतृत्व संघ के सदस्य दिनेश पटेल ने किया। इस दौरान रसोइए बीआरसी के समक्ष बैठे रहे। वही प्रखंड के विभिन्न विद्यालयों में बन रहे मध्याह्न भोजन को बाधित कर हंगामा किया। इस संबंध में श्री पटेल ने बताया कि जबतक हमारी मांग पूरी नहीं होती, तब तक हड़ताल जारी रहेगा। वही प्रखंड प्राथमिक विद्यालय श्यामपुर, यूएम.एस धबधबवा व झिटकहिया में मजदूर रख कर प्रधानाध्यापक ने मध्हयान मोजन बनवाया। जिसकी जानकारी मिलने पर रसोईया संघ के कुछ लोगों ने श्यामपुर पहुंच हंगामा किया व सहयोग करने की अपील की। पूछे जाने पर प्रधानाध्यापकों ने बताया कि डीईओ के आदेश के आलोक में खाना बनवाया गया । मौके पर सेहरा खातून, शांति देवी, नूरजहां खातून, श्रीपति देवी, सीता देवी, कलमा खातून, सावित्री देवी, जहांआरा खातून, राधा देवी, रहमत मिया, पप्पू, आशा देवी, रामपति देवी, उमरावती देवी, माया देवी, सरोज देवी, लालपरी देवी सहित अन्य रसोइया मौजूद थे।