विद्यालय की कुव्यवस्था को ले बीआरसी में जड़ा ताला, बीआरपी को बनाया बंधक
पिछले एक माह से प्रखंड के राजकीय प्राथमिक विद्यालय कल्याणपुर वृत में विवाद थमने का नाम नहीं ले रहा है।
मोतिहारी। पिछले एक माह से प्रखंड के राजकीय प्राथमिक विद्यालय कल्याणपुर वृत में विवाद थमने का नाम नहीं ले रहा है। ग्रामीणों ने एक माह के अंदर विद्यालय में दूसरी बार तालाबंदी करते हुए बीआरसी कार्यालय में हंगामा किया है। आक्रोशित ग्रामीणों ने बीआरपी को बंधक बना लिया। हालांकि बीआरपी विकास चंद्र वर्मा किसी तरह ग्रामीणों के चुंगल से अपने को मुक्त कराया। ग्रामीण विगत चार सालों की छात्रवृत्ति एवं पोशाक राशि नहीं बांटे जाने एवं गबन करने से नाराज थे। एक माह पूर्व जब ग्रामीणों द्वारा विद्यालय में 6 दिनों के लिए तालाबंदी की गई थी तब प्रखंड प्रमुख सनीला देवी की पहल पर विद्यालय के दो शिक्षकों को विद्यालय से हटाया गया, जिसके बाद मामला शांत हुआ था। लेकिन एक माह बीत जाने के बाद भी बच्चों के खाते में रुपये नहीं भेजे जाने व शैक्षणिक व्यवस्था में सुधार नहीं होने तथा तीन वर्ष बाद भी विद्यालय शिक्षा समिति के गठन नहीं होने से नाराज ग्रामीणों ने बीआरसी कार्यालय में तालाबंदी कर जमकर हंगामा किया। ग्रामीणों का कहना है कि जबतक जिलाधिकारी नहीं आएंगे विद्यालय और बीआरसी का ताला नहीं खुलेगा। इधर बीईओ बालदेव ठाकुर ने थाना में आवेदन देकर प्रदर्शनकारियों के खिलाफ प्राथमिकी दर्ज कराई है। आरोप लगाया कि निशांत कुमार नामक युवक 30- 40 लोगों के साथ बीआरसी कार्यालय में घुसकर जरूरी कागजात को तितर-वितर कर दिया और बीआरपी विकास चंद्र वर्मा के साथ गाली-गलौज की तथा जान से मारने की धमकी दी। बीआरसी से जाने के क्रम में अपने साथ कई अभिलेख भी साथ ले गए एवं जाते-जाते बीआरसी कार्यालय में ताला जड़ दिया। बीईओ बालदेव ठाकुर ने बताया कि बच्चों के खाते में राशि भेजी जा रही है।
योगदान करने पहुंची महिला शिक्षक का ग्रामीणों ने किया विरोध
जिला प्राधिकार एवं प्रखंड शिक्षा पदाधिकारी के आदेश के दूसरे दिन शंभूचक पंचायत के प्राथमिक विद्यालय सिसवा कन्या में योगदान करने गई अर्चना कुमारी को ग्रामीणों के विरोध का सामना करना पड़ा। उक्त स्थल पर पहुंचे ग्रामीणों ने विद्यालय में ताला बंद कर नारेबाजी की। घटनास्थल पर पहुंची पुलिस के समक्ष भी ग्रामीणों के बीच मारपीट हुई, जिसमें रुपेश कुमार घायल हो गया। ग्रामीणों ने बीडीओ व जिला शिक्षा पदाधिकारी को आवेदन देकर कहा था कि शिक्षिका कुमारी अर्चना का इस विद्यालय में योगदान नहीं कराने के लिए कहा गया था। इसके बावजूद बीईओ द्वारा उक्त शिक्षिका को पुन: विद्यालय में भेजा गया है। अगर उनका योगदान कराया गया तो विवश होकर वे अपने बच्चे को विद्यालय में पढ़ने नहीं भेजेंगे। आवेदन देने वालों में वार्ड सदस्य त्रिभुवन साह, जय प्रकाश ¨सह, रामाधार ¨सह, पुनदेव ¨सह, शत्रुघ्न ¨सह, अशोक ¨सह, ¨मटू ¨सह, छोटन ¨सह, ओम प्रकाश सहित सात दर्जन ग्रामीण शामिल हैं। योगदान करने गई शिक्षिका अर्चना कुमारी ने भी थाने में आवेदन देकर कहा है कि उक्त विद्यालय के पंचायत शिक्षक संजीव कुमार दुबे द्वारा गांवों के कुछ लड़कों को उकसाकर नारेबाजी व गाली गलौज करा रहे थे । उसके पहुंचते ही मारपीट पर उतारु हो गए। कुछ लड़के गाड़ी की चाबी छीनने लगे। बचाव में भूमि दाता के पुत्र कुंदन कुमार व रूपेश कुमार आए तो उन्हे भी जितेन्द्र कुमार, छोटन ¨सह, छोटू कुमार, रोशन कुमार आदि ने मारपीट कर घायल कर दिया। थानाध्यक्ष धीरज कुमार ने बताया की मामले की जांच की जा रही है। बीईओ मोहन प्रसाद ने बताया की हमें इस मामले की जानकारी नहीं है।