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स्कूलों की जांच होने से पहले वायरल हुआ लेटर

शिक्षा विभाग के प्राथमिक शिक्षा निदेशालय एवं माध्यमिक शिक्षा निदेशालय द्वारा सप्ताह में दो बार अधिकारियों की संख्या के अनुसार स्कूलों का औचक निरीक्षण कराती है।

By JagranEdited By: Published: Wed, 16 Oct 2019 04:40 PM (IST)Updated: Wed, 16 Oct 2019 04:40 PM (IST)
स्कूलों की जांच होने से पहले वायरल हुआ लेटर
स्कूलों की जांच होने से पहले वायरल हुआ लेटर

बक्सर : सरकारी स्कूलों में शिक्षकों की उपस्थिति को जांचने और व्यवस्था में सुधार के लिए सप्ताह में दो बार अलग-अलग सरकारी स्कूलों में जाकर अधिकारियों को औचक निरीक्षण करना है। डीईओ, डीपीओ एवं बीआरपी द्वारा प्राइमरी एवं मिडिल स्कूलों में अचानक पहुंच कर निरीक्षण करना है, लेकिन पहले ही जांच के प्रस्तावित स्कूलों की सूची वायरल होने से अभियान की हवा निकल रही है।

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विद्यालयों के निरीक्षण से पहले शिक्षकों के वाट्सएप ग्रुप में डाल दे रहे हैं। इससे सभी विद्यालयों के एचएम और शिक्षक यह जान लेते हैं कि निदेशक के आदेश पर कौन से स्कूल का निरीक्षण किस अधिकारी द्वारा किया जाएगा। खास बात यह है कि हर बार निदेशक के निरीक्षण का पत्र वायरल होने के बावजूद शिक्षा विभाग के अधिकारी इससे बेखबर हैं और निरीक्षण के लिए संबंधित स्कूल पहुंच रहे हैं। हर बार की तरह इस बार भी बुधवार की सुबह ही कई वाट्सएप ग्रुप पर स्कूलों के निरीक्षण के लिए निदेशक द्वारा जारी किए गए पत्र को वायरल कर दिया गया। बीते 29 अगस्त को भी प्राथमिक शिक्षा के निदेशक के आदेश पर प्राइमरी और मिडिल स्कूलों का औचक निरीक्षण किया गया था। लेकिन, यह पत्र भी निरीक्षण से 5 घंटे पहले ही वाट्सएप ग्रुप में वायरल कर दिया गया। जिससे स्कूल के शिक्षक सतर्क हो गए और कभी समय पर नहीं आने वाले गुरुजी भी कक्षा में पहुंच क्लास लेते दिखे।


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