भोजपुर की सीमा पर बनेगा चेकपोस्ट
लोकसभा चुनाव की संवेदनशीलता को देखते हुए भोजपुर जिले की सीमावर्ती बॉर्डर पर चेकपोस्ट बनेगा।
आरा। लोकसभा चुनाव की संवेदनशीलता को देखते हुए भोजपुर जिले की सीमावर्ती बॉर्डर पर चेकपोस्ट बनेगा। यह चेकपोस्ट 24 घंटे कार्यरत रहेगा। यहां जांच पड़ताल के लिए अधिकारियों के साथ पुलिस बल की तैनाती की जाएगी। जिलाधिकारी संजीव कुमार ने बुधवार को यह निर्णय लिया है। चेकपोस्ट पर वाहनों की तलाशी, नकद राशि, शराब, शस्त्र, उपहार आदि की सघन तलाशी तथा असामाजिक तत्वों के आवागमन पर विशेष निगरानी रखी जाएगी। स्टैटिक सर्विलांस टीम द्वारा तलाशी की पूरी प्रक्रिया मजिस्ट्रेट की उपस्थिति में वीडियो रिकॉर्डिंग के साथ की जाएगी। इसका प्रतिवेदन निर्वाची पदाधिकारी एवं आदर्श आचार संहिता कोषांग को उपलब्ध कराया जाएगा। जिला के सीमावर्ती थानाध्यक्षों को निर्देश दिया गया है कि वे जिले की सीमा पर ही चेकपोस्ट बनाना सुनिश्चित करें। सभी मुख्य सड़क, सहायक सड़क अथवा सीमावर्ती क्षेत्रों में स्थापित चेकपोस्ट पर स्टैटिक सर्विलांस टीम द्वारा कार्य तत्काल प्रभाव से शुरू किया जाएगा। चुनाव के 72 घंटे पूर्व स्टैटिक सर्विलांस टीम की निगरानी को और सशक्त एवं प्रभावी ढंग से लागू किया जाएगा। विशेषकर संवेदनशील एवं अतिसंवेदनशील क्षेत्रों में। चेकिग के दौरान यदि किसी उम्मीदवार अथवा उनके अभिकर्ताओं के वाहन में 50 हजार से अधिक की नकद राशि अथवा पोस्टर, निर्वाचन सामग्री, किसी प्रकार की औषधि, शराब, शस्त्र, उपहार जिनका मूल्य 10 हजार रुपये से अधिक हो तथा मतदाताओं के प्रलोभन हेतु व्यवहार किए जाने की आशंका हो तो अवैध सामग्री को नियमानुसार जब्त कर लिया जाएगा। यदि कोई स्टार प्रचारक एक लाख से ज्यादा की राशि अपने निजी इस्तेमाल के लिए उपयोग कर रहा है या पार्टी का कोई कार्यकर्ता पार्टी के कोषाध्यक्ष के प्रमाणपत्र के आधार पर जिसमें राशि के किस निमित व्यय किए जाने का वर्णन हो तो ऐसे मामलों में स्टैटिक सर्विलांस टीम प्रमाणपत्र की प्रति लेंगे तथा राशि को जब्त नहीं करेंगे। अगर 10 लाख से ज्यादा की राशि गाड़ी में पाई जाती है तो इसकी सूचना एवं पूर्ण विवरण आयकर विभाग को देना होगा। आयकर पदाधिकारी विभाग के कानूनी प्रावधानों के तहत कार्रवाई करेंगे। अगर चेकिग के दौरान अपराध होने की आशंका दिखती है तो स्टैटिक सर्विलांस टीम के पुलिस पदाधिकारी भारतीय दंड संहिता के प्रावधानों के तहत दंडाधिकारी के समक्ष राशि को जब्त करेंगे एवं 24 घंटे के अंदर पुलिस पदाधिकारी प्राथमिकी दर्ज करेंगे। आमजनों एवं वैध लोगों की सुविधा तथा उनके परिवेदना निवारण हेतु उप विकास आयुक्त की अध्यक्षता में एक तीन सदस्यीय समिति का गठन किया गया है। जिसके सदस्य के रूप में नोडल पदाधिकारी अभ्यर्थी व्यय कोषांग तथा कोषागार पदाधिकारी को शामिल किया गया है।