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रेड लाइट एरिया के बच्चों को विद्यालय तक लाने की अनोखी पहल, जानिए क्‍या होगा तरीका

रेड लाइट एरिया की पहचान अब शिक्षक करेंगे। वहां के बच्‍चों को स्‍कूल तक आने का उपाय किया जाएगा। यह कार्य राज्‍य मानवाधिकार आयोग के पहल पर की जाएगी। वहां के बच्‍चों को शिक्षा एवं स्‍वास्‍थ्‍य जैसी मूलभूत सुविधा से जोड़ा जाएगा।

By Amrendra kumar TiwariEdited By: Published: Mon, 11 Jan 2021 03:32 PM (IST)Updated: Mon, 11 Jan 2021 03:32 PM (IST)
रेड लाइट एरिया के बच्चों को विद्यालय तक लाने की अनोखी पहल, जानिए क्‍या होगा तरीका
बिहार राज्य मानवाधिकार आयोग की पहल पर शुरू होगा सर्वेक्षण

जमुई [आशुतोष सिंह] । रेड लाइट एरिया में रह रहे बच्चों तक शिक्षा, स्वास्थ्य एवं अन्य मूलभूत सुविधा मुहैया कराने की अनोखी पहल जमुई जिले में शुरू की गई है। यह पहल शिक्षा विभाग ने बिहार राज्य मानवाधिकार आयोग के पहल पर शुरू की है। शिक्षा विभाग ने जमुई जिले के सभी 10 प्रखंडों में रेड लाइट एरिया की पहचान कर वहां रहने वाले बच्चों तक शिक्षा स्वास्थ्य एवं अन्य मूलभूत सुविधाओं उपलब्ध कराने के लिए सर्वेक्षण कराने से संबंधित निर्देश सभी प्रखंड शिक्षा पदाधिकारी को दिया गया है। शिक्षा विभाग से मिली जानकारी के अनुसार राज्य परियोजना निदेशक, बिहार शिक्षा परियोजना परिषद पटना द्वारा जमुई जिले के रेड लाइट एरिया की पहचान कर वहां रह रहे 6-14 आयु वर्ग के बच्चों तक शिक्षा सहित अन्य सुविधाएं उपलब्ध कराने संबंधित पत्र भेजा गया था।

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बीईओ 15 दिनों में करें रेड लाइट एरिया की पहचान

जिला शिक्षा पदाधिकारी रवि कुमार सिंह ने सभी प्रखंड शिक्षा पदाधिकारी को 15 दिनों के अंदर अपने-अपने प्रखंड के रेड लाइट एरिया की पहचान कर उक्त एरिया में रह रहे 6-14 आयु वर्ग के बच्चों को चिन्हित कर तथा अनामांकित बच्चों को विद्यालय तक पहुंचाने का निर्देश दिया गया है। यह काम प्रखंड स्तर पर शिक्षकों के माध्यम से किया जाना है। जिले भर के सभी 10 प्रखंडों में संबंधित शिक्षक रेड लाइट एरिया की पहचान करेंगे। साथ ही 6-14 आयु वर्ग के नामांकित और अनामांकित बच्चों का डेटा एकत्र कर शिक्षा विभाग को उपलब्ध कराएंगे ताकि रेड लाइट एरिया में रहने वाले बच्चों तक शिक्षा, स्वास्थ्य सहित अन्य सुविधाएं मुहैया कराई जा सके।

शिक्षा विभाग की पहल से ऐसे बच्‍चों का होगा सर्वांगीण विकास

एड्स, शिक्षा तथा स्वास्थ्य के क्षेत्र में वर्षों से काम करने वाले सामाजिक कार्यकर्ता शिव शंकर सिंह बताते हैं कि जमुई जिले में कहीं भी चिन्हित रेड लाइट एरिया नहीं है लेकिन शिक्षा विभाग की यह पहल सराहनीय तथा स्वागत योग्य है। शिक्षा विभाग के इस प्रयास से यदि किसी बच्चे की पहचान की जाती है तो शिक्षा तथा स्वास्थ्य सहित अन्य सुविधाएं मिल सकेंगी।

बोले जिला शिक्षा पदाधिकारी

जिला शिक्षा पदाधिकारी रवि कुमार सिह ने कहा कि विभागीय निर्देश के आलोक में जमुई जिले में रेड लाइट एरिया की पहचान करना है ताकि रेड लाइट एरिया में रहने वाले 6-14 बच्चों तक शिक्षा सहित अन्य योजनाओं का लाभ पहुंचाया जा सके। इस संदर्भ में सभी प्रखंड शिक्षा पदाधिकारी को 15 दिनों के अंदर रिपोर्ट देने का निर्देश दिया गया है।


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