TMBU: कॉपी खरीद नहीं होने के कारण अटकीं महत्वपूर्ण परीक्षाएं
TMBU सेमेस्टर चार तीन पार्ट वन समेत अन्य परीक्षाएं शामिल। खरीद-बिक्री समिति में लिए गए हैं महत्वपूर्ण निर्णय। सत्र देरी होने के कारण लगातार छात्र-छात्राएं विश्वविद्यालय पहुंचते हैं। परीक्षा विभाग जाकर परीक्षा तिथि की पूछते हैं। लेकिन उन्हें कोई उत्तर नहीं मिलता।
जागरण संवाददाता, भागलपुर। तिलकामांझी भागलपुर विश्वविद्यालय (टीएमबीयू) में कॉपी खरीद नहीं होने से कई महत्वपूर्ण परीक्षाएं अटकी हुई हैं। पहले कोरोना के कारण परीक्षाएं प्रभावित हुईं। अब कॉपी के कारण कठिनाई हो रही है। सेमेस्टर चार, तीन, पार्ट वन, पार्ट टू समेत कई अन्य वोकेशनल व कोर्स की परीक्षाएं लंबित हैं, जो परीक्षाएं लंबित हैं उनमें साल भर या इससे ज्यादा का सत्र देरी से चल रहा है। इन परीक्षाओं में छह लाख से ज्यादा कॉपियों की जरूरत होगी। हाल में पार्ट टू की परीक्षा कराने के लिए किसी तरह ढाई लाख कॉपियों की खरीद की गई। अब इतनी भी कॉपी नहीं बची है कि सेमेस्टर चार की परीक्षाएं हो सके।
परीक्षा विभाग का चक्कर लगा रहे छात्र
सत्र देरी होने के कारण लगातार छात्र-छात्राएं विश्वविद्यालय पहुंचते हैं। परीक्षा विभाग जाकर परीक्षा तिथि की पूछते हैं। किंतु कॉपी नहीं रहने के कारण कोई भी अधिकारी इस मामले में कुछ भी बोलने से बचते रहते हैं। कॉपी खरीद को लेकर प्रभारी कुलपतियों के समक्ष भी कई बार चर्चाएं हुई। लेकिन राजभवन की अनुमति के बगैर टेंडर नहीं हो सकता। लिहाजा, मामला ठंडे बस्ते में पड़ा रहा। परीक्षाएं लंबित पड़ी हुई हैं।
खरीद-बिक्री कमेटी में रखा गया था मुद्दा
हाल ही में टीएमबीयू में हुई खरीद बिक्री समिति की बैठक में कॉपी खरीद का मुद्दा रखा गया था। टेंडर को लेकर सदस्यों की सहमति से निर्णय लिया गया है। हालांकि विश्वविद्यालय खुलने के बाद किस प्रक्रिया से कॉपी खरीद होगी। इसको लेकर कुलपति से भी अधिकारी मंथन करेंगे। ताकि सही प्रक्रिया के तहत कॉपी की खरीद हो सके।
टीएमबीयू के हॉस्टलों के लिए होगी वार्डेन और अधीक्षक की नियुक्ति
टीएमबीयू महिला और पुरूष छात्रावासों में वार्डेन अैर अधीक्षक की नियुक्ति होगी। इसके लिए डीएसडब्ल्यू डॉ. राम प्रवेश सिंह ने 10 अप्रैल तक आवेदन मांगा है। इसमें पीजी विभागों के वरीय शिक्षकों को वरीयता दी जाएगी। आवेदन करने वाले शिक्षक विभागाध्यक्ष से उसे अग्रसारित कराएंगे। इसके साथ उन्हें बॉयोडाटा भी देना होगा। यह जानकारी पीआरओ डॉ. दीपक कुमार दिनकर ने दी है।