Bihar Flood News: बिहार के खगडिय़ा में कोसी का तांडव, उफनाई नदी में 15 घर विलीन; बढ़ी परेशानी
बिहार के खगडि़या में बदला-नगरपाड़ा तटबंध के 31-32 किलोमीटर वीरबास स्थल से लगभग 240 मीटर अंदर स्थित है पुराना वीरबास गांव। वह गांव शर्मा टोला के नाम से प्रसिद्ध है। जानें कया हाल है
खगडिय़ा, अमित झा। Bihar Flood News: बदला-नगरपाड़ा तटबंध के 31-32 किलोमीटर वीरबास स्थल से लगभग 240 मीटर अंदर स्थित है पुराना वीरबास गांव। वह गांव शर्मा टोला के नाम से प्रसिद्ध है। वहां एक पखवारे से कोसी कटाव कर रही है। आठ दिनों से यहां बाढ़ नियंत्रण विभाग की देखरेख में फ्लड फाइटिंग कार्य भी चल रहा है। कटाव पर बहुत हद तक नियंत्रण हुआ है, लेकिन 15 घर नदी के गर्भ में समा चुके हैं। प्रशासन की ओर से विस्थापितों को राहत के नाम पर अबतक मात्र पॉलिथीन सीट दी गई है। विस्थापित भगवान का नाम लेकर किसी तरह दिन काट रहे हैं।
तटबंध पर लिए हुए हैं शरण
कोसी नदी में घर के समाने के बाद 15 विस्थापित परिवारों ने बदला-नगरपाड़ा तटबंध पर किसी तरह प्लास्टिक शीट बांधकर शरण ले रखा है। मगर जब भी बारिश होती इन परिवारों की हालत खराब हो जाती है। यहां रहनेवाले राधे शर्मा कहते हैं- कोरोना से ज्यादा डर कोसी मैया का लगता है। घर नदी में विलीन हो जाने के बाद से किसी तरह सपरिवार तटबंध पर रहे रहे हैं।
मूसलधार बारिश होती तो जान बचाना मुश्किल
जब मूसलाधार बारिश होती है, तो जान बचाना मुश्किल हो जाता है। प्रशासन की ओर से मात्र पॉलिथीन मिला है। इस मौसम में खेती-गृहस्थी, मजदूरी सब पर आफत है। विस्थापित चंदेश्वरी शर्मा, योगेंद्र साह, पवन साह, अरुण साह, अनिल शर्मा, बीनो शर्मा, जयराम शर्मा, राजेश कुमार सभी का हाल राधे शर्मा जैसे ही हैं। उनका कहना है बास (बसने वाली भूमि) और चास (खेत) दोनों कोसी में विलीन हो गई।
कहते हैं गोगरी के अंचलाधिकारी
इस संबंध में गोगरी अंचल के सीओ कुमार रविंद्रनाथ ने कहा कि कटाव तटबंध के अंदर हो रहा है। विस्थापित परिवार वहीं बसे थे। विस्थापित परिवारों को पॉलिथीन सीट मुहैया कराई गई है। भूमिहीन कटाव पीडि़तों को पुनर्वास के लिए जमीन उपलब्ध कराई जाएगी। उसकी खोज की जा रही है।