रेलवे में बहाली पर रोक के खिलाफ भड़का छात्रों का आक्रोश, जमकर किया बवाल
रेलवे में बहाली पर रोक व निजीकरण के खिलाफ शुक्रवार को सैकड़ों छात्रों का आक्रोश भड़क उठा। स्टेशन पहुंचकर उन्होंने घंटो हंगामा किया। पुलिस को आखिरकार लाठी चार्ज करनी पड़ी।
भागलपुर [जेएनएन]। रेलवे में बहाली पर रोक व निजीकरण के खिलाफ शुक्रवार को सैकड़ों छात्रों का आक्रोश भड़क उठा। वे आम छात्र दल के बैनर तले तिलकामांझी भागलपुर विश्वविद्यालय के मुख्य गेट से सीधे भागलपुर रेलवे स्टेशन पहुंचे और जमकर बवाल काटा। जगह-जगह तोडफ़ोड़ की।
किऊल-भागलपुर ट्रेन को पैनल के पास रोक दिया। मालदा इंटरसिटी ट्रेन पर लाठी-डंडे के साथ चढ़ गए और तोड़-फोड़ करने लगे। स्थिति तनावपूर्ण देख जनसेवा, मालदा इंटर सिटी व साहेबगंज इंटरसिटी एक्सप्रेस को स्टेशन पर ही रोक दिया गया। रेल चक्का जाम के कारण आठ घंटे तक किऊल-भागलपुर-साहेबगंज रेलखंड पर रेल परिचालन ठप रहा। एक भी ट्रेन न आ सकी न जा सकी। कई ट्रेनें विभिन्न स्टेशनों पर रुकी रही।
भारी संख्या में पहुंचे जवान
सूचना मिलते ही भारी संख्या में भागलपुर पुलिस, रेल पुलिस व अतिरिक्त बल स्टेशन पहुंचे। पर छात्रों की संख्या काफी अधिक होने के कारण वे उन्हें रोक नहीं पाए। उल्टे छात्र उनके साथ धक्का-मुक्की करने लगे। एसडीओ व डीएसपी की बात भी सुनने को आंदोलनकारी तैयार नहीं हुए। आंदोलन करीब बारह बजे शुरू हुआ। देर शाम तक उन्होंने एक भी ट्रेनों का परिचालन नहीं होने दिया।
पटरी पर लेट गए छात्र
इससे पूर्व, आंदोलनरत छात्रों से वार्ता करने सबसे पहले रेल पुलिस पहुंची। बल पूर्वक छात्रों को हटाने का प्रयास किया तो सभी छात्र पटरी पर लेट गए। स्टेशन डायरेक्टर ने छात्रों की बात डीआरएम से कराई। पर उन्होंने उनकी बात मानने से इंकार कर दिया और रेलमंत्री से वीडियो कॉल के माध्यम से बात कराने की मांग करने लगे।
भयभीत हो गए यात्री
छात्रों का उग्र रूप देख ट्रेन व प्लेटफॉर्म पर बैठे यात्री भयभीत हो गए। वे सुरक्षित जगह की तलाश को इधर-उधर भागने लगे।
होता रहा हंगामा, पुलिस बेबस
आंदोलन के बीच देर शाम आधे आंदोलनकारी प्लेटफॉर्म पर आ गए और हंगामा करने लगे। छात्रों की भय से ट्रेन में बैठे यात्रियों ने खिड़कियां बंद कर ली। हंगामा बढऩे पर वे अपना-अपना सामान लेकर भागने लगे और सुरक्षा व्यवस्था में लगे एसडीओ, डीएसपी, रेल पुलिस लाचार होकर तमाशा देखते रहे।
कोचिंग संचालकों ने छात्रों को भड़काया, होगी कार्रवाई
पुलिस आंदोलन के पीछे का कारण शहर में चलने वाले कोचिंग संस्थानों को मान रही है। पुलिस का कहना है कि इनके ही बहकावे में आकर छात्र आंदोलन के लिए पटरी पर आ गए हैं। मामला शांत होने के बाद शहर के प्रत्येक कोचिंग सेंटरों की गतिविधियों की जांच कराई जाएगी। संदिग्ध भूमिका पाए जाने वालों पर कठोर कानूनी कार्रवाई की जाएगी।