आहिस्ता-आहिस्ता कट रही है आपकी जेब
अगर आपको लग रहा है कि आपका वाहन कम माइलेज दे रहा है तो घबराएं नहीं।
भागलपुर [नवनीत मिश्र]
अगर आपको लग रहा है कि आपका वाहन कम माइलेज दे रहा है तो घबराएं नहीं। पंप पर जाकर पता कर लें कि हाल में पेट्रोल की कितनी कीमत बढ़ी है। पिछले कई दिनों का गणित लगाएंगे तो हकीकत पता चल जाएगी।
जून 2017 से गुरुवार तक 10-15 या 20-25 पैसे बढ़ते-बढ़ते पेट्रोल का दाम प्रति लीटर करीब छह रुपये बढ़ चुका है। डीजल भी साढ़े आठ रुपये तक महंगा हो गया है। पिछले सात महीने में आहिस्ता-आहिस्ता आपकी जेब कटती चली गई। वह भी इतनी शाति से कि वाहन मालिकों को अहसास तक नहीं हुआ। न ही उन लोगों को जो सब्जी की दो-चार रुपये कीमत बढ़ने पर सरकार को कोसने लगते थे।
डीजल, पेट्रोल और एलपीजी की आपूर्ति केंद्रीय पेट्रोलियम मंत्रालय के अधीन संचालित होने वाली कंपनिया करती हैं। पेट्रोल, डीजल जैसे तरल ईंधन की आपूर्ति के लिए केंद्र सरकार के अंतर्गत आने वाली भारत पेट्रोलियम, इंडियन ऑयल कॉरपोरेशन और हिन्दुस्तान पेट्रोलियम अधिकृत हैं। इनके अतिरिक्त एस्सार और रिलायंस पेट्रोलियम निजी क्षेत्र की लाइसेंसधारक कंपनिया हैं। 15 जून 2017 तक तरल ईंधन की कीमतों का निर्धारण सीधे पेट्रोलियम मंत्रालय के हाथ में था। कच्चे तेल की कीमतों में हर रोज उतार-चढ़ाव का हवाला देने के बाद रोजाना उपभोक्ता तक पहुंचने वाले तेल की दरें तय करने का अधिकार 16 जून से सीधे तेल कंपनियों को दे दिया गया।
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ऐसे समझें कीमत बढ़ने का गणित
सात माह में सवा आठ रुपये तक बढ़ गया डीजल का दाम, पेट्रोल की कीमत भी छह रुपये प्रति लीटर बढ़ी
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पहले घटीं, फिर बढ़ती गई कीमतें
पेट्रोल पंप पर मिलने वाले तेल की कीमत हर रोज सीधे संबंधित कंपनी के मुख्यालय से तय होती है। शुरुआती 15 दिन तक कीमतें कम हुई लेकिन जुलाई के बाद से ईंधन की दरों ने ऐसा गियर बदला कि कीमतें चढ़ने की रफ्तार बढ़ती गई। 16 जून को भागलपुर में इंडियन ऑयल के पंप पर पेट्रोल की दर 68.37 रुपये प्रति लीटर थी, 31 जनवरी को एक लीटर पेट्रोल 74.41 रुपये में मिला। अभी 77.22 प्रति लीटर पेट्रोल मिल रहा है। सात महीने पहले 55.97 रुपये प्रति लीटर वाला डीजल अब 68.20 रुपये में एक लीटर मिल रहा। हिन्दुस्तान और भारत पेट्रोलियम की दरें भी लगभग इसी रफ्तार से बढ़ीं।
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पेट्रोल की बराबरी करने को भागता डीजल
तरल ईंधन की दरों में बढ़ोत्तरी तक तो ठीक था, लेकिन इस अवधि में पेट्रोल की तुलना में डीजल की कीमतों में अधिक इजाफा हुआ। सात माह पहले तक दोनों की प्रति लीटर की दरों में 12 से 14 रुपये तक का अंतर था, जो 31 जनवरी तक आठ से नौ से दस रुपये तक आ गया।
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हर सुबह छह बजते बदल जाती है कीमत
केंद्रीय पेट्रोलियम मंत्रालय के नियंत्रण में डीजल, पेट्रोल में कीमत की वृद्धि सरकार की घोषणा वाली तारीख की मध्य रात्रि यानी 12 बजे से बदलती थी। लेकिन कंपनियों के हाथ में कीमत की कमान आने पर हर रोज सुबह छह बजे बदलती है। ऑटोमेशन से जुड़ी पेट्रोल पंप की मशीनों में खुद-ब-खुद नई दर अपडेट होती है। केवल मैनुअल फीडिंग वाली मशीनों में ही पंप पर दर ऑपरेटर बदलते हैं।
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इंडियन ऑयल पंप की दर
तारीख पेट्रोल डीजल
15 जून 2017 69.65 57.31
16 जून 68.37 55.97
1 जुलाई 66.46 54.95 (न्यू. दर रही)
31 जनवरी, 18 74.41 64.22
16 जून से बढ़ोतरी 6.04 8.25
भारत पेट्रोलियम पंप की दर
तारीख पेट्रोल डीजल
15 जून 2017 69.65 57.31
16 जून 68.42 56.00
1 जुलाई 66.51 54.98 (न्यू. दर रही)
31 जनवरी, 18 74.34 64.15
16 जून से बढ़ोतरी 5.92 8.15
¨हदुस्तान पेट्रोलियम पंप की दर
तारीख पेट्रोल डीजल
15 जून 2017 69.84 57.50
16 जून 68.45 56.08
1 जुलाई 66.57 55.06 (न्यू. दर रही)
31 जनवरी, 18 74.46 64.27
16 जून से बढ़ोतरी 6.01 8.19
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क्या कहती है पब्लिक
रोजाना 30 से 35 किलोमीटर तक शहर में चलना होता है। पेट्रोल की कीमत की तरफ कभी ध्यान ही नहीं गया। 100 रुपये या 200 रुपये का पेट्रोल भरा लेता था। महसूस हो रहा था कि गाड़ी का एवरेज कम हो गया है।
- कुणाल आनंद, शोध के छात्र
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पेट्रोल की कीमतें बढ़ने पर पहले न्यूज से पता चल जाता था। सरकार हल्के से हमारी जेब से रुपये निकाल ले गई। पब्लिक को अंधेरे में रखकर वेबकूफ बनाया जा रहा है। पहले विरोध होने पर सरकार कीमतें वापस भी लेती थी, अब किससे फरियाद करें।
- संजीव कुमार, छात्र, टीएमबीयू