Bihar Assembly Election Results 2020 : जीतते-जीतते हार गए रोहित, भाजपा ने भागलपुर विधानसभा के बनाया था प्रत्याशी
Bihar Assembly Election Results 2020 भागलपुर विधानसभा के भाजपा प्रत्याशी रोहित पांडेय को शुरूआती बढ़त मिलने के बाद हार का मुंह देखना पड़ा। हालांकि वे अंत तक वहां डटे रहे। उनकी हार का अंतर मात्र एक हजार वोट का है। कांग्रेस ने एक बार फिर अपनी सीट बचा ली।
भागलपुर, जेएनएन। Bihar Assembly Election Results 2020 : भागलपुर में राजकीय पॉलिटेक्निक में मंगलवार की सुबह करीब साढ़े आठ बजे पांच विधानसभा क्षेत्रों की मतगणना शुरू हुई। मतगणना शुरू होने के साथ ही जो रूझान आना शुरू हुआ, वह एनडीए के पक्ष में था। सभी पांचों सीट पर एनडीए के प्रत्याशी बढ़त बनाए हुए थे। यह सिलसिला दोपहर तक चलता रहा। दोपहर बाद भागलपुर के भाजपा प्रत्याशी रोहित पांडेय कांग्रेस के अजीत शर्मा से एक हजार वोट से पीछे हो गए। अजीत शर्मा की बढ़त अंत तक रही वे लगभग एक हजार मतों से जीत गए। नाथनगर से तिलकामांझी तक के बूथों की मतगणना में रोहित आगे रहे। लेकिन बरेहपुरा इलाके में वे कांग्रेस से पिछड़ गए।
बोले भाजपा नेता
भागलपुर विधानसभा के भाजपा प्रत्याशी रोहित पांडेय ने कहा कि यह हमारी व्यक्तिगत हार है। उन्होने कहा कि उन्हें जीताने के लिए पार्टी और यहां के कार्यकर्ताओं ने काफी मेहनत किया था। सारी योजनाएं बनाई गई थी। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी सहित कई बड़े नेता खुद हमारे लिए वोट मांगने यहां आए थे। जदयू का भी उन्हें अच्छा साथ मिला था। अन्य एनडीए कार्यकर्ता एक साथ मिलकर चुनाव लड़े। सामूहिक योजनाएं बनी थी। उन्होंने कहा कि हम अपने वोटर को मतदान केंद्र तक नहीं ले जा सके, यही चूक हो गई। जिससे कारण हार हुई है। भाजपा के भागलपुर जिला कार्यकारी अध्यक्ष संतोष कुमार ने कहा कि भारतीय जनता पार्टी इस हार से काफी दुखी है। मामूली मतों के अंतर से यहां से पार्टी की हार हुई। इसकी समीक्षा की जाएगी। हमलोग बेहतर चुनाव लड़े हैं।
कांग्रेस-भाजपा के परंपरागत वोट में लगाई राजेश ने सेंध
भाजपा-कांग्रेस के परंपरागत वोट बैंक में सेंध लगाकर लोजपा प्रत्याशी राजेश वर्मा 20,523 मत लाकर भले ही तीसरे स्थान पर रहे लेकिन दोनों दलों के प्रत्याशियों के बीच मुकाबले में जीत का अंतर कम कर दिया। हालांकि, लोजपा ने जब राजेश को यहां से प्रत्याशी बनाया तब लगा कि भागलपुर में त्रिकोणीय मुकाबला होगा।
राजेश चुनाव में जीत के रूप में कामयाबी नहीं पा सके लेकिन दोनों दलों के प्रत्याशियों के पसीने छुड़ा दिए। 20 हजार 523 वोट लाकर जहां अजीत शर्मा को हर राउंड में परेशान किया वहीं भाजपा प्रत्याशी रोहित पांडेय को 950 वोट से हार का मुंह देखना पड़ा। हालांकि, भागलपुर को भाजपा अपनी सीट मानती रही है। दो बार (एक बार विधानसभा उपचुनाव और एक बार विधानसभा चुनाव) भाजपा को इस सीट से हार का मुंह देखना पड़ा। भाजपा ने प्रयोग के तौर पर हर बार प्रत्याशी को बदला लेकिन सफलता नहीं मिली। इस बार भी भाजपा ने रोहित पांडेय पर दांव लगाया ताकि कांग्रेस से सीट झटकी जा सके। लेकिन लोजपा ने यहां से राजेश वर्मा को प्रत्याशी बनाकर भाजपा की मुश्किल को बढ़ा दिया। चुनाव परवान पर चढ़ा तो लोगों में यह चर्चा जोर पकड़ ली थी कि लोजपा पांच से दस हजार वोट में सिमट जाएगी। लेकिन लोगों ने राजेश पर भरोसा किया। राजेश भागलपुर के डिप्टी मेयर भी हैं। उन्हें भी भरोसा था शहर की जनता उनके साथ खड़ी होगी। इधर, कांग्रेस और भाजपा भी यह मानने लगी थी कि मुकाबला त्रिकोणीय न हो जाए। दोनों दल लगातार वोट बैंक में सेंधमारी रोकने का भरसक प्रयास करते रहे। लेकिन दोनों दलों में राजेश ने सेंधमारी की। नतीजा, भाजपा को फिर हार का मुंह देखना पड़ा। कांग्रेस के अजीत शर्मा को जीत मिली। लेकिन राजेश ने जीत का अंतर काफी कम कर दिया। उधर, राजेश का कहना है कि मुझे लोगों का आशीर्वाद मिला है लोगों ने मुझ पर भरोसा किया। यह मेरे लिए बड़ी उपलब्धि है।