मधुमक्खी पालन : रोजगार का मिला अवसर, सरकार दे रही अनुदान, आप भी लें, यह है प्रक्रिया
जागरण संवाददाता, सुपौल। मधुमक्खी पालन : अब मधुमक्खी पालन से जुड़े लोगों को आर्थिक परेशानियों से नहीं गुजरना पड़ेगा। सरकार ने पहली बार मधुमक्खी पालन को कृषि कार्य में शामिल करते हुए इस व्यवसाय से जुड़े लोगों को अनुदान देने का फैसला लिया है। सरकार के इस व्यवस्था के शुरू हो जाने से कोसी क्षेत्र में न सिर्फ मधुमक्खी पालन को बढ़ावा मिलेगा बल्कि रोजगार के भी द्वार खुलेंगे। दरअसल मधुमक्खी पालन को कृषि का दर्जा देते हुए सरकार ने मधुमक्खी पालन के बॉक्स पर सामान्य जाति के किसानों को 75 फीसद और अनुसूचित जाति एवं अनुसूचित जनजाति के किसानों को 90 फीसद अनुदान देने का प्रावधान किया है । जिला उद्यान विभाग के अनुसार प्रति बॉक्स पर होने वाले 4 हजार रुपये के खर्च में किसानों को सरकार 3 हजार तक अनुदान देगी। इस योजना के तहत चयनित किसानों को बागवानी मिशन योजना के तहत खेती पर भी अनुदान दिया जाएगा।
सीधे किसानों के खाते में जाएगा अनुदान
मधुमक्खी पालन के लिए किसानों को अनुदान की राशि सीधे किसानों के खाते में दिया जाएगा। इसके लिए किसानों को ऑनलाइन आवेदन करना होगा। हालांकि आवेदन की प्रक्रिया कैसा होगा इसको लेकर विभाग द्वारा अभी तक कोई गाइडलाइन जारी नहीं किया गया है। लेकिन सरकार की ओर से विभाग को इस दिशा में तैयारी कर लेने का निर्देश दिया है । जारी निर्देश में सरकार ने किसानों को आत्मनिर्भर बनाने के लिए रोजगार से जुड़े इस योजना को संचालित करने का निर्देश दिया है। कहा कि कोसी का यह इलाका मधुमक्खी पालन को लेकर अनुकूल है । पहले से ही यहां के कुछ किसान इस कार्य से जुड़े हुए हैं । लेकिन सरकार द्वारा पहली बार इसे कृषि कार्य में जोड़कर किसानों को सहायता पहुंचाने के लिए कार्यक्रम तय किये गये हैं। निश्चित ही इस व्यवस्था के लागू हो जाने से इस इलाके में मधुमक्खी पालन की दिशा में तेजी आएगी बल्कि इससे लोगों को रोजगार भी मिल पाएगा। किसान शहद बेचकर मुनाफा कमा सकते हैं। इसके अलावा किसानों के लिए मधुमक्खी पालन स्वरोजगार को भी बढ़ावा देगा।
मधु निकालने की मशीन पर भी अनुदान
मधुमक्खी पालन के बाद मधु निकालने के लिए किसान को मशीन पर भी अनुदान दिया जाएगा। 20 हजार मूल्य वाले मशीन पर सामान्य जाति के किसान को मात्र 5 हजार एवं अनुसूचित जाति एवं अनुसूचित जनजाति किसानों को 2 हजार रुपये में उपलब्ध कराई जाएगी। किसानों को इसके लिए प्रशिक्षित होना आवश्यक होगा । मधुमक्खी पालन के लिए भी प्रशिक्षित किसानों को भूमिहीन होने के बावजूद भी योजना का लाभ दिया जाएगा। फिलहाल इसको लेकर विभाग तैयारी में जुट चुका है।
मधुमक्खी पालन को पहली बार कृषि में शामिल कर इसे बढ़ावा देने के लिए सरकार ने निर्देशित किया है। फिलहाल योजना की रूपरेखा उपलब्ध करा दी गई है। निर्देश मिलते ही किसानों से आवेदन लेना शुरू कर दिया जाएगा। -आकाश कुमार, जिला उद्यान पदाधिकारी