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मधेपुरा में अवैध रूप से संचालित पैथोलॉजी और डायग्नोस्टिक सेंटर पर होगी कार्रवाई, इस तरह तैयार की जा रही सूची

मधेपुरा में अवैध रूप से संचालित पैथोलॉजी और डायग्नोस्टिक सेंटर पर जल्द कार्रवाई होगी। इस संबंंध में सिविल सर्जन ने जिले के सभी प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र के प्रभारी चिकित्सा पदाधिकारी को पत्र लिख है। साथ ही सूची तैयार करने को कहा है।

By Abhishek KumarEdited By: Published: Fri, 09 Apr 2021 11:40 AM (IST)Updated: Fri, 09 Apr 2021 11:40 AM (IST)
मधेपुरा में अवैध रूप से संचालित पैथोलॉजी और डायग्नोस्टिक सेंटर पर होगी कार्रवाई, इस तरह तैयार की जा रही सूची
मधेपुरा में अवैध रूप से संचालित पैथोलॉजी और डायग्नोस्टिक सेंटर पर जल्द कार्रवाई होगी।

जागरण संवाददाता, मधेपुरा। जिले में अवैध रूप से संचालित जांच घर, पैथोलॉजी व डायग्नोस्टिक सेंटरों के खिलाफ न्यायालय के निर्देश पर स्वास्थ्य विभाग सख्त कार्रवाई करने का निर्णय लिया है।

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सिविल सर्जन ने जिले के सभी प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र के प्रभारी चिकित्सा पदाधिकारी को पत्र लिख अवैध रूप से संचालित जांच घर, पैथोलॉजी व डायग्नोस्टिक सेंटर को चिन्हित कर तीन दिनों के अंदर जांच कर रिपोर्ट समर्पित करने का निर्देश दिया है। ताकि संबंधित संस्थानों के खिलाफ कार्रवाई की जा सके। न्यायालय ने जिले में अवैध रूप से संचालित जांच घर, पैथोलॉजी व डायग्नोस्टिक सेंटरों को जांच कर बंद कराने का आदेश सिविल सर्जन को गत नौ मार्च को दिया था। न्यायालय के आदेश का पालन समय से नहीं किए जाने पर न्यायालय ने विभाग के खिलाफ नाराजगी जाहिर किया।

पीएचसी प्रभारी को सीएस ने जारी किया पत्र

न्यायालय के आदेश का पालन करने को लेकर सिविल सर्जन डॉ. अमरेंद्र नारायण शाही ने सभी प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र के प्रभारी चिकित्सा पदाधिकारी को पत्र लिख अपने अपने प्रखंड में अवैध रूप से संचालित जांच केंद्र, पैथोलॉजी व डायग्नोस्टिक सेंटर की पहचान कर उसकी सूची तैयार कर तीन दिनों के अंदर समर्पित करने का निर्देश जारी किया है। ताकि संबंधित संस्थानों के खिलाफ कार्रवाई किया जा सके।

जिले में बड़े पैमाने पर संचालित है अवैध लैब

जानकारी हो कि जिले में सारे नियम कानून को ताक पर रख अवैध जांच घर, पैथोलॉजी व डायग्नोस्टिक सेंटर खोल लोगों से अवैध उगाही का धंधा खुलेआम जारी है। स्वास्थ्य विभाग ने न्यायालय के आदेश पर इससे पहले भी कई बार जांच घर, पैथोलॉजी व डायग्नोस्टिक सेंटर के खिलाफ जांच अभियान चला चुका है। जांच की शुरूआत होने पर अवैध संस्था के संचालक अपने अपने संस्थान को कुछ दिनों के लिए बंद कर कर दिया करता था। जांच का कार्य समाप्त होने के बाद पुन: संस्थान को खोल अपना कारोबार शुरू कर देता है। परंतु इस बार अवैध रूप से संचालित संस्थानों के खिलाफ स्वस्थ्य विभाग सख्त कदम उठाने का निर्णय लिया है।

जिले में अवैध रूप से संचालित सभी जांच घर, पैथोलॉजी व डायग्नोस्टिक सेंटर संचालकों को निर्देश दिया है कि अविलंब अपनी अपनी संस्थान को बंद कर लें। अन्यथा जांच के दौरान पकड़े जाने पर सख्त कार्रवाई की जाएगी। -डॉ. अमरेंद्र नारायण शाही, सिविल सर्जन, मधेपुरा  


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