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बासुकीनाथ धाम पथ पर तेज हुआ कांवरियों का चलना

बांका। झमाझम बारिश के बीच बोलबम नारों को गुंजायमान करते बासुकीनाथ धाम के लिए कांवरियों के चलने का सिलसिला निर्बाध रुप से जारी है।

By Edited By: Published: Thu, 11 Aug 2016 09:49 PM (IST)Updated: Thu, 11 Aug 2016 09:49 PM (IST)
बासुकीनाथ धाम पथ पर तेज हुआ कांवरियों का चलना

बांका। झमाझम बारिश के बीच बोलबम नारों को गुंजायमान करते बासुकीनाथ धाम के लिए कांवरियों के चलने का सिलसिला निर्बाध रुप से जारी है। कोलकाता के बोल बम कांवरिया सुल्तानगंज से जल भर कर चले थे, तब धूप और गर्मी ने परेशान कर रखा था।

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बुधवार की रात्रि से हो रही लगातार वर्षा ने कांवरियों को राहत देने का काम किया है। बौंसी-हंसडीहा कांवरिया पथ के श्याम बाजार समीप तक जहां हाल के निर्माण हुए पक्की सड़क के पीच पर कांवरियों को चलने में कुछ राहत मिली है। वहीं श्याम बाजार से आगे सड़क निर्माण कार्य नहीं होने से कंक्रीट वाले पत्थर के सड़कों पर चलना कांवरियों के लिए भारी परेशानी का सबब बना है। चातुर्मास सावन के अंतिम सप्ताह होने से बासुकीनाथ कांवरिया यात्री का इस मार्ग से चलना तेज हो गया है। जानकारी हो कि भागलपुर गंगा तट के सीढ़ी घाट, बूढ़ानाथ घाट, हनुमान घाट, बरारी घाट आदि स्थानों से पवित्र पावनी गंगा जल भरकर जगदीशपुर, रजौन, पुनसिया, ढाकामोड़, बाराहाट होते हुए बौंसी हंसडीहा के रास्ते बासुकीनाथ धाम जलार्पण के लिए पहुंचते हैं। वहीं सुलतानगंज अजगैबीनाथ घाट से असरगंज, अमरपुर, बांका होते हुए बौंसी के रास्ते मंदार शिखर को निहारते बाबा बासुकीनाथ धाम के लिए पैदल कांवर यात्रा करते हैं। कहते हैं मंदार के शिखर का दर्शन कर लेने से मधुसूदन का दर्शन हो जाता है।


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