दीनदयाल हत्याकांड में झारखंड के तीन बदमाशों को किया नामजद
बांका। गुरुवार को मारे गए दीनदयाल यादव की हत्या भूमि विवाद में की गई है। इस मामले में तीन नामजद एवं अन्य अज्ञात के खिलाफ मामला दर्ज किया गया है।
बांका। गुरुवार को मारे गए दीनदयाल यादव की हत्या भूमि विवाद में की गई है। इस मामले में तीन नामजद एवं अन्य अज्ञात के खिलाफ मामला दर्ज किया गया है। मृतक के बड़े भाई कामदेव यादव के आवेदन पर गौरीपुर पंचायत के सिमरिया ग्राम निवासी अशोक यादव, दुम्मा झारखंड निवासी उपेंद्र यादव एवं देवघर निवासी ¨रकू द्वारी को नामजद किया गया है। बताया जाता है कि हत्या में जिस लाल अपाची का उपयोग किया है। वह सिमरिया निवासी अशोक यादव की है। ¨रकू द्वारी से ही हत्या के दस मिनट पूर्व दीनदयाल से भूमि विवाद हुआ था। इसके बाद उसकी हत्या की गई। मृतक के भाई ने बताया कि दीनदयाल को गोली उपेंद्र यादव ने मारी थी। जबकि उसके सिर पर गड़ासे से अशोक यादव ने हमला किया था। अशोक भी झारखण्ड का शातिर अपराधी है। जो कई बार लूट बैंक डकैती सहित कई गंभीर मामलों में बांका देवघर गिरिडीह धनवाद सहित अन्य जेल जा चुका है। जबकि उपेंद्र भी झारखंड के शातिर अपराधी ओर ¨रकू द्वारी झारखंड-बिहार का जमीन माफिया है। थानाध्यक्ष श्रीकांत चौहान का कहना है कि लगभग हत्या में शामिल पूरी गैंग का पता लग चुका है। और जल्दी ही हत्या में प्रयुक्त मोटर साइकिल सहित सभी अभियुक्त भी पकड़ में आ जाएंगे।
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बेटे को पुलिस अफसर बनाना चाहता था दीनदयाल
दीनदयाल पुलिस की मुखबिरी भी करता था। इसके बाद भी तुर्की मोड़ लूट कांड में तत्कालीन थानाध्यक्ष जितेंद्र कुमार ने उसे जेल भेजा था। इसके अलावा कई लूट कांड ओर विष्णु यादव हत्या में भी वह कई बार जेल गया था। खास कर कांवरिया पथ पर झारखंड बिहार की सीमा पर जमीन खरीद के बाद भी दीनदयाल को लेवी दिए बगैर जमीन पर काम कराना आसान नहीं था। चर्चा है कि इसी कारण उसकी हत्या भी हुई। पत्नी बेबी देवी ने बताया कि उसका पति अपने बच्चे को अच्छे माहौल में रखकर पढ़ा रहा था। बेटे को पुलिस अफसर बनाना चाहता था पर उसकी तमन्ना पूरी नही हो सकी।