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सुखाड़ से निपटने में विभाग के छूटेंगे पसीने

बांका। जिले के सात प्रखंडों को सुखाड़ क्षेत्र घोषित कर सरकार ने किसानों के जख्मों पर मर

By JagranEdited By: Published: Tue, 16 Oct 2018 10:11 PM (IST)Updated: Tue, 16 Oct 2018 10:11 PM (IST)
सुखाड़ से निपटने में विभाग के छूटेंगे पसीने
सुखाड़ से निपटने में विभाग के छूटेंगे पसीने

बांका। जिले के सात प्रखंडों को सुखाड़ क्षेत्र घोषित कर सरकार ने किसानों के जख्मों पर मरहम लगाने का काम किया है। लेकिन,सुखाड़ से निपटने में विभाग के यहां पसीने छूटेंगे। यहां 96 हजार हेक्टेयर भूमि में धान के फसल लगाए गए थे। लेकिन खरीफ मौसम के अंतिम दौर में हथिया नक्षत्र भी किसानों को दगा दे गई। अक्टूबर माह में यहां अब तक सामान्य से सात फीसद कम बारिश हुई है। इससे 25 फीसद धान के फसल बर्बादी की कगार पर है। जिससे करीब पांच अरब के धान के फसल बर्बाद होने का अनुमान है।

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रबी से भरपाई की कोशिश :

सात प्रखंडों को सुखाग्रस्त घोषित करने से पूर्व ही विभाग यहां की स्थिति का आंकलन कर खरीफ फसल के नुकसान की भरपाई रबी फसल से करने की तैयारी में जुट गई है। इस बार यहां 36 हजार हेक्टेयर भूमि में गेंहूं की खेती से दो लाख 27 हजार 270 टन गेंहूं उत्पादन का लक्ष्य रखा गया है। लेकिन खरीफ की बर्बादी का प्रभाव रबी फसल पर ना पड़े इसके लिए विकल्प के तौर पर रबी के नए प्रभेदों के बीज विकसित किए गए हैं। जो कम बारिश और कम समय में भी अच्छी पैदावार देगा।

मिलेंगे नए प्रभेद के बीज :

विभाग की ओर से किसानों को रबी फसल के नए प्रभेदों के बीज उपलब्ध कराए जाएंगे। इसमें गेंहूं के एचडी 2985 व एचआई 1583 के 36 हजार ¨क्वटल बीज जिले को उपलब्ध कराए गए हैं। इसके अलावा कम नमी व कम ¨सचाई में होने वाले चना के नए प्रभेद 1581 के 32 हजार ¨क्वटल व मसूर के एचयूएल-57 एवं पीएल-8 के 12 हजार ¨क्वटल बीज किसानों के बीच कृषि विभाग की ओर से वितरित किए जाएंगे।

तेलहन फसल को बढ़ावा :

सरकार ने इस बार तेलहन फसल को बढ़ावा देने के लिए राष्ट्रीय खाद सुरक्षा मिशन के तहत टरफा योजना शुरु की है। जिससे यहां 3050 एकड़ में राई-सरसों का प्रत्यक्षण किया जाएगा। जिस पर किसानों को अनुदान मिलेगा। इसके लिए विभाग ने सरकार को 73 लाख की मांग की है।

डीजल अनुदान से भी राहत नहीं :

डीजल अनुदान के लिए अब तक 94 हजार 736 किसानों का निबंधन हुआ है। इसमें 20 हजार 488 किसानों के बीच दो करोड़ 63 लाख 35 हजार की राशि वितरित की गई है।

फुल्लीडुमर में सबसे कम बारिश :

इस माह फुल्लीडुमर प्रखंड में सबसे कम महज 15.2 फीसद बारिश हुई है। जबकि बांका प्रखंड में 27 फीसद, अमरपुर में 32.4 फीसद, शंभूगंज में 70.6, बेलहर 32, कटोरिया 32.6, चांदन 34, बौंसी 30.4, बाराहाट में 33.4, रजौन 31.4, धोरैया प्रखंड में 26.2 व शंभूगंज में 70.6 फीसद बारिश हुई है।

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सात प्रखंडों को सूखाग्रस्त घोषित किया गया है। अब सरकार के निर्देश के मुताबिक इन प्रखंड के किसानों को सहायता व सुविधा मुहैया कराई जाएगी। इसके अलावा रबी फसल से भी खरीफ की भरपाई करने की कोशिश की जाएगी।

सुदामा महतो, जिला कृषि पदाधिकारी


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