Bihar: औरंगाबाद में भाकपा माओवादी के सबजानेल कमांडर और एक नाबालिग नक्सली ने किया आत्मसमर्पण, सौंपे हथियार
Bihar News आत्मसमर्पण करने वाले सबजोनल कमांडर ने कहा कि मैने अब परिवार और घर को छोड़ जंगलों में रहना सही नहीं समझा। सरकार की नीति में विश्वास जगा और मुख्य धारा में शामिल होकर सुख और चैन की नींद सोने का निर्णय लेकर आत्मसमर्पण किया।
जागरण संवाददाता, औरंगाबाद: भाकपा माओवादी संगठन के सब जोनल कमांडर गोरा यादव और एक नाबालिग नक्सली ने सोमवार को पुलिस के सामने आत्मसमर्पण कर दिया। नाबालिग गया जिले के लुटुआ थाना क्षेत्र का है।
आत्मसमर्पण करने वाला सबजोनल कमांडर मदनपुर थाना क्षेत्र के छेछानी गांव का निवासी है। दोनों नक्सलियों ने एक एसएलआर, एक देशी कट्टा, मैगजीन और 53 कारतूस के साथ एसपी स्वप्ना गौतम मेश्राम और कोबरा, सीआरपीएफ और एसएसबी के अधिकारियों के समक्ष आत्मसमर्पण किया।
माला पहनाकर हुआ स्वागत
एसपी, एएसपी अभियान मुकेश कुमार, सीआरपीएफ के मयंक, जितेंद्र भाठी, कोबरा के मनीषजी महाले, एसएसबी के एसके सिंह, दीपक कुमार मीणा समेत अन्य अधिकारियों ने आत्मसमर्पण करने वाले नक्सलियों का माला पहनाकर स्वागत किया।
एसपी ने बताया कि जिले में पुलिस, कोबरा, सीआरपीएफ, एसएसबी द्वारा नक्सलियों के खिलाफ की जा रही बड़ी कार्रवाई को देखते हुए और सरकार की आत्मसमर्पण सह पुनर्वास नीति से प्रभावित होकर दोनों नक्सलियों के आत्मसमर्पण किया है।
अब नक्सलियों को मुख्य धारा में शामिल होने की आत्मविश्वास जगा है। आगे और भी नक्सलियों को मुख्य धारा में शामिल कराया जाएगा।
कई कांडों में रहे हैं शामिल
आत्मसमर्पण करने वाले दोनों नक्सली बिहार और झारखंड के कई नक्सली कांडों में शामिल रहे हैं। एसपी ने बताया कि वर्ष 2018 में देव थाना क्षेत्र के सुदीबिगहा गांव में हुए नक्सली हमले में नरेंद्र प्रसाद सिंह की हत्या और कई वाहनों व दुकानों को जला देने, कोबरा के दो जवानों की हत्या करने समेत अन्य नक्सली कांडों में इनकी संलिप्तता है।
इसके अलावा 19 जून 2016 को देव थाना क्षेत्र के गंजोई के पास हुए मुठभेड़ और उसके बाद देव लौटते समय बंधु बिगहा कोयल नहर पुल के पास नक्सलियों द्वारा किए गए आईईडी ब्लास्ट में कोबरा के जवान अपूर्वा डेका बलिदान हो गए थे जबकि दो जवान के घायल हुए थे।
एक जनवरी 2018 को मदनपुर थाना क्षेत्र के लंगुराही पचरुखिया के जंगल में हुई मुठभेड़ में कोबरा 205 बटालियन के जवान आशीष पात्रा के बलिदान हो जाने की घटना के अलावा अन्य नक्सली घटनाओं में भी ये शामिल रहे हैं।
13 नक्सली कांडों में शामिल रहा है गोरा
सबजोनल कमांडर गोरा यादव पिता विजय यादव जिले के मदनपुर, अंबा, ढिबरा और देव थाना क्षेत्र के 13 नक्सली कांडों में शामिल रहा है। मदनपुर थाने में इसके खिलाफ आठ, देव थाना में तीन, ढिबरा और अंबा थाना में एक-एक नक्सली कांड का मामला है। नाबालिग हार्डकोर नक्सली के खिलाफ मदनपुर थाने में तीन प्राथमिकी है।
हर माह मिलेंगे 10 हजार रुपये
हथियार और कारतूस के साथ पुलिस के समक्ष आत्मसमर्पण करने वाले दोनों नक्सलियों को तीन वर्ष तक हर माह 10 हजार रुपये मिलेगा। एसपी ने बताया कि सरकार की नई आत्मसमर्पण सह पुनर्वास नीति के तहत दोनों को ढाई-ढाई लाख नकद दिया जाएगा। हथियार और कारतूस के साथ आत्मसमर्पण किया है इसलिए इसके लिए अलग से राशि दी जाएगी।
दोनों को रोजगारन्मुखी निःशुल्क प्रशिक्षण दिलाया जाएगा। एसपी ने बताया कि दोनों नक्सलियों के खिलाफ मामलों में स्पीड ट्रायल कराया जाएगा। दोनों ने आत्मसमर्पण किया है इसलिए ट्रायल में नक्सलियों को लाभ मिलेगा। जल्द केस का निष्पादन होगा। परिवार के साथ जीवन बिता सकेंगे।
सरकार की नीति ने किया प्रभावित
आत्मसमर्पण किए सबजोनल कमांडर ने कहा कि मैने अब परिवार और घर को छोड़ जंगलों में रहना उचित नहीं समझा। सरकार की नीति में विश्वास जगा और मुख्य धारा में शामिल होकर सुख और चैन की नींद सोने का निर्णय लेकर आत्मसमर्पण किया। उसने कहा कि गिरफ्तार किए नक्सली विनय यादव ने दस वर्ष की उम्र में उसे संगठन में शामिल किया था।