भाजपा नेताओं की टीम ने ¨हगवा गांव का किया दौरा
अररिया। शनिवार को भरगामा थाना क्षेत्र के ¨हगवा में मंदिर निर्माण को लेकर उत्पन्न विवाद का
अररिया। शनिवार को भरगामा थाना क्षेत्र के ¨हगवा में मंदिर निर्माण को लेकर उत्पन्न विवाद का जायजा लेने भाजपा नेताओं का एक दल शनिवार को ¨हगवा का दौरा किया । भाजपा के नेताओं ने स्थानीय लोगों से घटना के संबंध में विस्तृत जानकारी लेकर प्रशासन की नकामी पर बताते हुए कहा कि ¨हगवा में प्रशासन गोली के बल पर विवाद का हल करना चाहती थी । धार्मिक अनुष्ठान बाधित किये जाने से श्रद्धालुगण आक्रोशित हो उठे जिसके कारण घटना घटित हुई । भाजपा जिला अध्यक्ष संतोष सुराना, पूर्व जिला अध्यक्ष आलोक कुमार भगत उर्फ बम शंकर भगत, भाजपा नेता राजेश चन्द्र झा, राजा मिश्रा ने विवादित स्थल का मुआयना किया तथा घायल मीना देवी के स्वास्थ्य की जानकारी ली । भाजपा जिलाध्यक्ष संतोष सुराना ने स्थानीय लोगों से घटना के संबंध में जानकारी ली। ग्रामीणों से पूछताछ के बाद जिलाध्यक्ष ने कहा कि ¨हगवा में प्रशासन ने जल्दबाजी में कदम उठाकर धार्मिक अनुष्ठान को बाधित करने का काम किया । प्रशासनिक कार्रवाई अनुष्ठान समाप्ति के बाद भी हो सकती थी। लेकिन आखिर किस दबाव में अधिकारियों ने अनुष्ठान में बाधा पहुंचाया। इस मामले की गहन जांच की जाय। भाजपा नेताओं ने कहा कि धार्मिक अनुष्ठान में तोड़ फोड़ के कारण मौजूद लोग आक्रोशित हो उठे जिसके कारण ¨हगवा की घटना घटित हुई । पुलिस ने भजन व कीर्तन कर रहे निहत्थे लोगों पर गोली चलाकर दहशत फैलाना चाहा। भाजपा जिला अध्यक्ष ने प्रशासन से ¨हगवा का भूखंड जो बहुत छोटा है जिसमें भवन निर्माण संभव नहीं है । उस भूखंड पर मंदिर निर्माण के लिए स्थानीय लोगों को सौंपने की मांग की । बम शंकर भगत व राजा मिश्रा ने कहा कि विवाद के निराकरण के लिए प्रशासन ने नोटिस भेजकर बातचीत के लिए ¨हगवा के लोगों को थाना बुलाया था । निर्धारित समय पर ग्रामीण थाना परिसर में पहुंचे थे । आखिर अचानक क्या बात हो गई जो ग्रामीणों को पुन: ¨हगवा भेजकर प्रशासन ने श्रद्धालुओं के बीच दहशत फैलाना शुरू कर दिया। यदि थाना परिसर में बातचीत होती तो ¨हगवा में घटना घटित नहीं होती । प्रशासन ने मामले को गंभीरता से नहीं लिया जिसके कारण ¨हगवा में घटना घटित हुई । भाजपा कार्यकर्ताओं की टीम ने मामले की उच्च स्तरीय जांच, दोषी अधिकारियों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई और पीड़ितों को मुआवजा देने की मांग मुख्यमंत्री नीतीश कुमार, उपमुख्यमंत्री सुशील मोदी तथा डीएम हिमांशु शर्मा से की है।