Move to Jagran APP

भारत में टेस्ला की एंट्री पर अभी भी संशय बरकरार, Import Duty कम करने को लेकर सरकार नहीं दे रही जवाब

भारत 40000 डॉलर या उससे कम लागत वाले इलेक्ट्रिक वाहनों पर 60% का आयात शुल्क और 40000 डॉलर से अधिक कीमत वाले वाहनों पर 100% शुल्क लगाता है। हालांकि कुछ जानकारों का मानना है कि इन दरों पर टेस्ला कारें खरीदारों के लिए बहुत महंगी हो जाएंगी।

By BhavanaEdited By: Published: Thu, 21 Oct 2021 10:35 AM (IST)Updated: Fri, 22 Oct 2021 12:12 PM (IST)
भारत में टेस्ला की एंट्री पर अभी भी संशय बरकरार, Import Duty कम करने को लेकर सरकार नहीं दे रही जवाब
भारत में ईवी के आयात पर लगने वाला कर अन्य देशो से ज्यादा हैं।

नई दिल्ली, ऑटो डेस्क। Tesla India Launch Update: अमेरिका की वाहन निर्माता कंपनी टेस्ला भारत में लगातार अपनी एंट्री को लेकर सरकार से बात कर रही है। रॉयटर्स की रिपोर्ट के मुताबिक कंपनी ने भारतीय प्रधान मंत्री नरेंद्र मोदी के कार्यालय से इलेक्ट्रिक वाहनों पर आयात करों को कम करने का आग्रह किया है। बता दें, टेस्ला इस साल भारत में आयातित कारों की बिक्री शुरू करना चाहती है, लेकिन उनका कहना है कि भारत में ईवी के आयात पर लगने वाला कर अन्य देशो से ज्यादा हैं।

loksabha election banner

कितना लगता  है आयात किए गए ईवी पर कर

भारत 40,000 डॉलर या उससे कम लागत वाले इलेक्ट्रिक वाहनों पर 60% का आयात शुल्क और 40,000 डॉलर से अधिक कीमत वाले वाहनों पर 100% शुल्क लगाता है। हालांकि कुछ जानकारों का मानना है, कि इन दरों पर टेस्ला कारें खरीदारों के लिए बहुत महंगी हो जाएंगी और यह कर भारत में Tesla के वाहनें की बिक्री को सीमित कर सकता हैं। सूत्रों ने कहा कि टेस्ला ने अलग से अपने मुख्य कार्यकारी एलन मस्क और मोदी के बीच बैठक का अनुरोध भी किया है। 

घरेलू वाहन निर्माता कंपनियां कर में मांग को लेकर खिलाफ

यह स्पष्ट नहीं है कि मोदी के कार्यालय की तरफ से टेस्ला को जवाब में क्या बताया गया है, सूत्रों ने कहा कि कर में कटौती के चलते स्थानीय ऑटो उद्योग पर असर पड़ेगा जिसके चलते सरकार इस पर भी विचार कर रही है। आपको याद होगा कि टाटा मोटर्स जैसी भारतीय कंपनियां, (जिन्होंने हाल ही में स्थानीय स्तर पर ईवी उत्पादन को बढ़ावा देने के लिए टीपीजी सहित निवेशकों से 1 बिलियन डॉलर जुटाए हैं,) ने कहा है कि टेस्ला को रियायतें देना घरेलू ईवी विनिर्माण को बढ़ावा देने की भारत की योजनाओं के विपरीत होगा।

चीन में बनी कार ना हो भारत में आयात

परिवहन मंत्री ने इस महीने एक बयान में कहा था, कि टेस्ला को भारत में चीन में बनी कारों की बिक्री नहीं करनी चाहिए और इसके बजाय स्थानीय रूप से निर्माण करना चाहिए, लेकिन टेस्ला ने संकेत दिया है कि वह पहले आयात के साथ भारतीय बाजार को परखेगी।


Jagran.com अब whatsapp चैनल पर भी उपलब्ध है। आज ही फॉलो करें और पाएं महत्वपूर्ण खबरेंWhatsApp चैनल से जुड़ें
This website uses cookies or similar technologies to enhance your browsing experience and provide personalized recommendations. By continuing to use our website, you agree to our Privacy Policy and Cookie Policy.