Move to Jagran APP

पहली बार अंतरिक्ष से ली गईं नासा के इनसाइट लैंडर की तस्वीर, आप भी देखें

मंगल ग्रह पर उसकी जानकारियां एकत्र करने में जुटा नासा का इनसाइट लैंडर पहली बार अंतरिक्ष से ली गईं तस्वीरों में कैद किया गया है।

By Sanjay PokhriyalEdited By: Published: Mon, 17 Dec 2018 09:44 AM (IST)Updated: Mon, 17 Dec 2018 11:05 AM (IST)
पहली बार अंतरिक्ष से ली गईं नासा के इनसाइट लैंडर की तस्वीर, आप भी देखें
पहली बार अंतरिक्ष से ली गईं नासा के इनसाइट लैंडर की तस्वीर, आप भी देखें

वाशिंगटन [प्रेट्र]। मंगल ग्रह पर उसकी जानकारियां एकत्र करने में जुटा नासा का इनसाइट लैंडर पहली बार अंतरिक्ष से ली गईं तस्वीरों में कैद किया गया है। इसकी तस्वीरें नासा के मार्स रिकोनिसेंस ऑर्बिट (एमआरओ) पर लगे कैमरे की मदद से ली गईं हैं। बता दें कि लाल ग्रह की जमीन और वातावारण का पता लगाने के लिए इनसाइट हाल ही में वहां लैंड हुआ था।

loksabha election banner

छह और 11 दिसंबर को हाईराइस (हाई रेसोलूशन इमेजिंग साइंस एक्सपेरिमेंट) से ली गईं इन तस्वीरों में इनसाइट की हीट शील्ड (उसका बाहरी कवच जो गर्मी से बचाता है) और पैराशूट (जिसकी मदद से वह मंगल पर उतरा था) दिखाई दे रहा है। नासा की ओर से जारी बयान के मुताबिक, मंगल के एलिसियम प्लानिटिया क्षेत्र की इन तस्वीरों से पता चला है कि लैंडर, हीट शील्ड और पैराशूट की आपस में दूरी करीब एक हजार फीट है। बता दें कि हाईराइस पहले भी मंगल पर उतरे लैंडर की तस्वीरें ले चुका है।

यूनिवर्सिटी ऑफ एरिजोना में हाईराइस की टीम ने इनसाइट की मंगल पर लैंडिंग की तस्वीरें लेने का भी प्रयास किया था, लेकिन सही कोण न मिल पाने के कारण सफलता नहीं मिल सकी थी। अब यह पहली बार है, जब इसकी मदद से इनसाइट की तस्वीरों को कैमरे में कैद करने में सफलता मिली है।

अमेरिकी अंतरिक्ष एजेंसी नासा के इनसाइट यान की यह तस्वीर 11 छोटे चित्रों का समूह है। इनमें इनसाइट का डेक, सोलर पैनल और वैज्ञानिक उपकरण दिख रहे हैं। नासा का कहना है कि 2012 में लांच हुआ क्यूरियोसिटी रोवर भी इसी तरह छोटी-बड़ी तस्वीरें उतारता था जिन्हें बाद में जोड़ा जाता था।

मंगल ग्रह की सतह और वहां के वातावरण का अध्ययन करने के लिए इस साल मई में इनसाइट लैंडर को लांच किया गया था। यह 26 नवंबर को मंगल पर उतरा था। दो हफ्ते बाद ही वैज्ञानिकों को इसके जरिये लाल गृह का वृहत चित्र मिल गया है। इसे 52 छोटी-बड़ी तस्वीरों को मिलाकर तैयार किया गया है।

इसका अध्ययन कर खगोलविद इनसाइट में लगे भूकंप और ताप के प्रवाह को मापने वाले यंत्र को लाल ग्रह की सतह पर तैनात करने की जगह सुनिश्चित कर पाएंगे। ये दोनों यंत्र समतल जमीन पर बेहतर काम करते हैं। इसी के चलते इनसाइट को मंगल के कम पथरीले इलाके इल्सियम प्लेनिशिया में उतारा गया है। इनसाइट मिशन के प्रमुख जांचकर्ता ब्रूस बेनेरडिट ने कहा, 'यह इलाका हमारे अनुमान से बेहतर निकला है। इस क्षेत्र में पत्थर, चट्टान और पहाड़ों का ना होना हमारे उपकरणों के लिए अच्छा है। इससे हम वहां की जमीन के भीतर तक खोदाई कर सकेंगे।' 


Jagran.com अब whatsapp चैनल पर भी उपलब्ध है। आज ही फॉलो करें और पाएं महत्वपूर्ण खबरेंWhatsApp चैनल से जुड़ें
This website uses cookies or similar technologies to enhance your browsing experience and provide personalized recommendations. By continuing to use our website, you agree to our Privacy Policy and Cookie Policy.