पश्चिम बंगाल के गांवों में बनेंगी पांच हजार किमी. सड़कें
पश्चिम बंगाल सरकार आगामी पांच महीनों में राज्य के ग्रामीण क्षेत्रों में पांच हजार किलोमीटर की सड़कें बनाएगी।
कोलकाता, जागरण संवाददाता। पश्चिम बंगाल सरकार आगामी पांच महीनों में राज्य के ग्रामीण क्षेत्रों में पांच हजार किलोमीटर की सड़कें बनाएगी। लोक निर्माण विभाग के मंत्री अरूप विश्वास ने बताया कि वित्त वर्ष 2018-19 के समापन यानी अप्रैल 2019 तक पूरे राज्य में 5000 किलोमीटर सड़कों का निर्माण कार्य पूरा किया जाएगा। इसके लिए टेंडर जारी किया गया है।
इस योजना में 2500 करोड़ रुपये की धनराशि खर्च होगी। सड़क निर्माण की जिम्मेदारी राज्य के लोक निर्माण विभाग (पीडब्ल्यूडी) को दी गई है। प्रति एक किलोमीटर के लिए 50 लाख रुपये के दर से सड़क निर्माण का कार्य पूरा किया जाएगा। इस बार खास बात यह है कि सड़क निर्माण का ठेका लेने वाले ठेकेदारों को ही पांच सालों तक नवनिर्मित सड़कों की देखरेख, मरम्मत और अन्य जरूरतों को पूरा करना होगा।
राज्य सरकार इन्हें की जाने वाली भुगतान की 10 फीसदी राशि परफॉर्मेंस इंटरेस्ट के रूप में पांच सालों तक अपने पास रखेगी। जब कॉन्ट्रैक्ट की समयावधि पूरा होगी तो यह राशि ठेकेदारों को लौटाई जाएगी। अगर बीच में कोई भी ठेकेदार मरम्मत का काम नहीं करता है या सड़क निर्माण में किसी तरह की खामी लापरवाही या कम गुणवत्ता वाले सामानों के इस्तेमाल की पुष्टि होती है, तो यह राशि उन्हें नहीं दी जाएगी। इसी के जरिए राज्य सरकार सड़कों की मरम्मत और देखरेख का काम पूरा करेगी।
सड़क निर्माण में होने वाले कुल खर्च का 40 फीसदी हिस्सा पश्चिम बंगाल सरकार दे रही है, जबकि 60 फीसदी हिस्सा केंद्र सरकार वहन करेगी। उन्होंने कहा कि 2011 में ममता बनर्जी के मुख्यमंत्री बनने के बाद विगत सात सालों में 16380 किलोमीटर सड़कें बनाई गई हैं। अब तक बनी सभी सड़कें 03.75 मीटर की चौड़ाई के साथ वन लेन हैं। अब से जो भी नई सड़कें बनेगी वह टू लेन होंगी और इनकी चौड़ाई 05.05 मीटर होगी।