बंगाल में असंगठित क्षेत्र के कर्मचारियों को मिला 880 करोड़ रुपये का लाभ
जागरण संवाददाता, कोलकाता : पश्चिम बंगाल श्रम विभाग ने पिछले पांच वर्षो के दौरान असंगठित क्षेत्र में
जागरण संवाददाता, कोलकाता : पश्चिम बंगाल श्रम विभाग ने पिछले पांच वर्षो के दौरान असंगठित क्षेत्र में श्रमिकों को विभिन्न कल्याणकारी योजनाओं के तहत 880 करोड़ रुपये के लाभ दिए हैं। यह दावा तृणमूल कांग्रेस के अधिकारिक वेबसाइट पर दी गई जानकारी में किया गया है। कहा गया है कि पिछली वाममोर्चा सरकार ने अपने शासन के पिछले 11 वषरें में असंगठित क्षेत्र के श्रमिकों को महज नौ करोड़ रुपये के लाभ दिया था। राज्य के श्रम मंत्री के मुताबिक पिछले पाच वर्षो में इसमें 100 फीसद की बढ़ोतरी हुई है। उन्होंने कहा कि असंगठित क्षेत्रों में मजदूरों, बीड़ी कामगारों और दैनिक मजदूरी वाले मजदूरों को इससे बेहद लाभ हुआ है। साथ ही उनके परिवार के सदस्यों को भी लाभ मिलने के साथ सामाजिक सुरक्षा मिली है। मंत्री ने कहा कि कई मामलों में असंगठित क्षेत्रों में लाभ दोगुना हो गया है। इससे पहले एक निर्माण कार्यकर्ता 5000 रुपये का चिकित्सा लाभ प्राप्त करता था और अब इसे बढ़ाकर 10,000 रुपये कर दिया गया है। उनके बच्चे भी अपनी पढ़ाई पूरी करने के लिए सहायता प्राप्त करते हैं। उन्होंने कहा कि पहले छात्रों को मात्र 2,000 रुपया मिलता था और अब कक्षा 12वीं के छात्रों को 4,000 रुपये तक मिलता है। इसके अलावा मजदूरी करने वाले लोगों के बच्चों को चिकित्सा और इंजीनियरिंग में पढ़ाई के लिए सहायता राशि दोगुनी कर 30,000 रुपये कर दिया गया है। अब बीड़ी श्रमिक अपने घरों को बनाने में मदद करते हैं और अपने घरों में बिजली की आपूर्ति सुनिश्चित करते हैं। साथ ही, उनके काम के लिए आवश्यक बुनियादी ढांचे के निर्माण के लिए उनकी मदद की जा रही है। उल्लेखनीय है कि श्रमिक मुक्ति कार्ड का उपयोग करके उक्त सभी लाभ प्राप्त किए जा सकते हैं। राज्य में 90 लाख कर्मचारियों को पहले ही कार्ड दिया जा चुका है। मंत्री के अनुसार राज्य सरकार ने दैनिक वेतन मजदूरों की न्यूनतम मजदूरी को भी बढ़ा दिया है और अब उन्हें 6,600 रुपये प्रति माह मिलती है। पिछली मजदूरी की तुलना में इसमें करीब 34 फीसद की बढ़ोतरी हुई है। इतना ही नहीं बीते कैलेंडर वर्ष के अंत तक यह बढ़ा कर 7,300 रुपये प्रति माह कर दी गई।