केंद्र व राज्य के प्रतिनिधि दल ने लिया बालुरघाट हवाई अड्डे का जायजा
-पूजा के पहले तक सुरक्षा संबंधी बकाया कार्य पूरा करने की तैयारी - आवंटित 11 करोड़ 35 लाख की राशि से
-पूजा के पहले तक सुरक्षा संबंधी बकाया कार्य पूरा करने की तैयारी
- आवंटित 11 करोड़ 35 लाख की राशि से चल रहा टूटे रनवे, एयर स्ट्रिप, पैसेंजर लाउंच का काम
संवाद सहयोगी, बालुरघाट : बालुरघाट-कोलकाता विमान सेवा चालू करने के उद्देश्य से बुधवार को केंद्र व राज्य प्रतिनिधि दल ने बालुरघाट हवाई अड्डे का निरीक्षण किया। रनवे समेत मुख्य कार्य समाप्त होने के बावजूद सुरक्षा संबंधी कुछ काम बाकी होने से विमान सेवा मार्च महीने से चालू नहीं हो सका। लाइसेंस के लिए आवेदन करने के पहले सुरक्षा समेत बाकी अन्य कार्य समाप्त करना होगा। हवाई अड्डे के निरीक्षण के लिए आने वाले एयरपोर्ट अॅथारिटी आफ इंडिया के प्रतिनिधि ने इस बात की जानकारी दी। प्रतिनिधि दल ने बताया कि सबकुछ सही रहने पर पूजा के पहले तक बालुरघाट-कोलकाता के बीच विमान सेवा चालू की जाएगी। ज्ञातव्य है कि बुधवार सुबह करीब 11 बजे एयरपोर्ट अथॉरिटी आफ इंडिया के ज्वाइंट जनरल मैनेजर सुजित कुमार दास, एसिसटेंट डाइरेक्टर ब्यूरो आफ एविएशन (सिक्योरिटी) पीबी शर्मा एवं एसिसटेंट डाइरेक्टर आफ जनरल सिविल एविएशन मनीश ठाकुर बालुरघाट हवाई अड्डे पर पहुंचे। इधर, राज्य की ओर से हेलिकॉप्टर सर्विस के डाइरेक्टर दीपक गुप्त, जिलाधिकारी संजय बसु, जिला पुलिस अधीक्षक प्रसून बनर्जी, दो अतिरिक्त जिलाधिकारी सुदीप्त भट्टाचार्य, अमलकांति राय सहित अन्य प्रशासनिक अधिकारी उपस्थित थे। हवाई अड्डे के अस्थायी छावनी में लंबी बैठक हुई। जहां विमान यातायात के लिए ढांचे का काम कहां तक पहुंचा एवं इसके लिए किन चीजों की आवश्यकता है इसे लेकर चर्चा हुई। सामान की चेकिंग से शुरू कर अन्य सुरक्षा संबंधी विषय किस तरह से करना होगा इसे चर्चा के माध्यम से जिला पुलिस अधीक्षक को अवगत करा दिया गया। इधर, परित्यक्त रनवे मरम्मत का काम, चारदिवारी, एयर स्ट्रिप सहित बड़े कार्य समाप्त होने के बावजूद बाकी कई छोटे व मध्यम स्तर के कार्यो को पूरा करने को कहा गया है। बाकी कार्यो में दो मीटर ऊंची चारदिवारी पर एंगल लगाना, सिक्योरिटी गाड़ी प्रवेश के लिए कम से कम 10 फीट के पेरीमीटर रोड, पेरीमीटर लाइटिंग, वाच टॉवर, कुलिंग फीड, टर्मिनल बिल्डिंग सिक्योरिटी ऑपरेशन कंट्रोल रूम, एटीसी टॉवर शामिल है। ये कार्य पूरे नहीं होने तक विमान के उड़ान करने के लिए लाइसेंस नहीं मिलेगी। बैठक के बाद प्रतिनिधि दल व जिला प्रशासन के अधिकारियों ने पूरे हवाई अड्डे का निरीक्षण किया। एयरपोर्ट अथॉरिटी आफ इंडिया के ज्वाइंट जनरल मैनेजर (एयर ट्रैफिक मैनेजमेंट) सुजित कुमार दास ने बताया कि लाइसेंस मिलने में थोड़ा समय लगता है, इसलिए कार्य चलते आवेदन किया जा सकता है। लाइसेंस के लिए अगले निरीक्षण के पहले ये काम पूरा कर लेना होगा।
ज्ञातव्य है कि दक्षिण दिनाजपुर जिले के बालुरघाट के माहीनगर इलाके में यह हवाई अड्डा स्थित है। करीब 50 एकड़ जमीन में है दो किमी का रनवे। इस वजह से यहां से हर प्रकार के प्रोपेलर चालित विमान यहां से उड़ान भर सकता है। करीब 30 वर्षो से इस परित्यक्त हवाई अड्डे से कोई विमान उड़ान नहीं भरा। वर्तमान राज्य सरकार के प्रयास से फिर से हवाई सेवा बालुरघाट से चालू होने जा रहा है। इस सेवा को चालू करने के लिए राशि आवंटित होने के साथ-साथ टेंडर प्रक्रिया को समाप्त कर 2016 के पहले महीने से लोक निर्माण विभाग ने काम शुरू किया था।
इस कार्य के लिए 11 करोड़ 35 लाख रुपयों के आवंटन से टूटे रनवे से शुरू कर एयर स्ट्रिप, पैसेंजर लाउंच, एयर ट्रैफिक, स्क्रू व पाइलटों के लिए रेस्ट रूम तैयार किया जा रहा है। 1375 मीटर के रनवे को बढ़ाकर 1495 मीटर किया गया है।