Move to Jagran APP

टूटे पुलों ने रोकी कांवड़ियों की राह

जागरण संवाददाता, उत्तरकाशी : इस बार गोमुख के पास से 210 कांवड़िये ही जल भर पाए। अन्य की राह चीड़बासा व

By Edited By: Published: Tue, 26 Jul 2016 07:38 PM (IST)Updated: Tue, 26 Jul 2016 07:38 PM (IST)
टूटे पुलों ने रोकी कांवड़ियों की राह

जागरण संवाददाता, उत्तरकाशी : इस बार गोमुख के पास से 210 कांवड़िये ही जल भर पाए। अन्य की राह चीड़बासा व कनखू बैरियर के पास बने पुल ने रोकी तो वहीं गंगोत्री आने वाले कांवड़ियों की राह भी हाईवे बाधित होने से रुकी। यही कारण रहा कि इस बार 10 जुलाई से अभी तक केवल 3450 कांवड़िये ही गंगोत्री पहुंच पाए हैं।

loksabha election banner

सावन में हर साल बड़ी संख्या में कांवड़िये गंगोत्री व गोमुख जल भरने के लिए जाते हैं। बीते वर्ष गोमुख से दो हजार कांवड़ियों ने जल भरा था तथा 10 हजार से अधिक कांवड़िये गंगोत्री में जल भरने के लिए आए थे, लेकिन इस बार कांवड़ियों की संख्या काफी कम रही। पहला कारण ये रहा कि 16 जुलाई को गंगोत्री से गोमुख जाने वाले पैदल रास्ते में कनखू बैरियर तथा चीड़वासा के पास पुल बह गए। यहां करीब 33 कांवड़ियों को एसडीआरएफ की टीम ने सुरक्षित निकाला पर इसके बाद से गंगोत्री से आगे कांवड़ियों का जाना पूरी तरह से प्रतिबंधित किया गया। 10 जुलाई से लेकर 16 जुलाई के बीच केवल 210 कांवड़िये ही गोमुख जा पाए। इसी बीच गंगोत्री हाईवे नरेंद्रनगर में बाधित हुआ तो इसका असर भी कांवड़ियों पर पड़ा। 18 जुलाई को हेल्कू गाड के पास हाईवे पूरी तरह से बंद रहा। तीन दिन तक डाक कांवड़िये भी गंगनानी और हेल्कू गाड के पास फंसे रहे। गंगोत्री मंदिर समिति के सचिव सुरेश सेमवाल कहते है कि सड़क बंद होने तथा गोमुख रास्ते पर पुलिया बहने के कारण कांवड़ यात्रा पर काफी असर पड़ा है। गोमुख से जल ले जाने वाले कांवड़िये 17 जुलाई के बाद नहीं आए। गंगोत्री व्यापार मंडल के अध्यक्ष सतेंद्र सेमवाल ने कहा कि गंगोत्री में व्यापारियों ने कांवड़ यात्रा को लेकर लाखों का सामान भरा था। लेकिन, बीच में सड़क बंद रहने तथा गोमुख के रास्ते में पुलिया बहने से व्यापारियों की उम्मीदों पर भी पानी फिर गया है।


Jagran.com अब whatsapp चैनल पर भी उपलब्ध है। आज ही फॉलो करें और पाएं महत्वपूर्ण खबरेंWhatsApp चैनल से जुड़ें
This website uses cookies or similar technologies to enhance your browsing experience and provide personalized recommendations. By continuing to use our website, you agree to our Privacy Policy and Cookie Policy.