तांबाखाणी सुरंग से रिस रहा पानी
जागरण संवाददाता, उत्तरकाशी: गंगोत्री हाईवे पर आवाजाही का एकमात्र जरिया तांबाखाणी सुरंग से पानी रिसने
जागरण संवाददाता, उत्तरकाशी: गंगोत्री हाईवे पर आवाजाही का एकमात्र जरिया तांबाखाणी सुरंग से पानी रिसने लगा हैं। कई स्थानों पर पानी टपकने से सुरंग के भविष्य पर सवाल उठने लगे हैं। पानी रिसने पर डीएम ने सख्त रूख अपनाते ¨सचाई विभाग देहरादून को कड़ा पत्र लिखा है।
तांबाखाणी के ऊपर वरुणावत से अभी भी हल्का भूस्खलन व पहाड़ी का दरकना जारी है। इस कारण तांबाखाणी सुरंग से ही वाहनों की आवाजाही व पैदल चलने वालों को सुरंग के रास्ते ही आना जाना पड़ रहा है, लेकिन सुरंग के अंदर लगातार पानी रिसने से वहां चलना भी खतरे से खाली नहीं है। पिछले कई दिनों से पूरी सुरंग की छत से पानी टपक रहा है।
वर्ष 2007 में बनकर तैयार हुई इस सुरंग की लाइ¨नग किए बगैर ही यातायात शुरू करवा दिया गया था। उसके बाद इसकी ओर ध्यान नहीं दिया गया, लेकिन वरुणावत की पहाड़ी से हो रहे भूस्खलन से तांबाखाणी सुरंग के बाहर की सड़क तो बंद है। ऐसे में यही सुरंग नगर क्षेत्र के अलावा गंगोत्री जाने वाले यात्रियों का आवागमन का जरिया बनी हुई है, लेकिन 358 मीटर लंबी सुरंग के भीतर अधिकांश हिस्से में ऊपर से लगातार पानी टपक रहा है। इससे सुरंग के भीतर पानी जमा हो रहा हैं। इससे पैदल चलने वालों व वाहनों की आवाजाही बेहद खतरनाक हो गई है। ऊपर से सुरंग में अधिकांश समय अंधेरा पसरा रहता है। इसके चलते यह और ज्यादा संवेदनशील हो गई है। यह स्थिति इस बार ही नहीं, बल्कि सुरंग तैयार होने के समय से ही बनी हुई है। इसकी ओर ध्यान नहीं दिया गया। लगातार पानी के रिसाव के कारण सुरंग के अस्तित्व पर भी सवाल खड़े होने लगे हैं। जिलाधिकारी इंदुधर बौड़ाई ने इस मामले को गंभीरता से लेते हुए ¨सचाई विभाग देहरादून को एक कड़ा पत्र लिखा है। जिसमें सुरंग के अंदर हो रहे पानी के रिसाव को बंद करने के निर्देश दिए गए हैं। समय पर पानी का रिसाव बंद न करने पर डीएम ने सुरंग निर्माण की अंतिम किस्त करीब दो करोड़ की धनराशि को रोकने की चेतावनी भी दी है। डीएम इंदुधर बौड़ाई ने बताया कि तांबाखाणी सुरंग से जो पानी का रिसाव हो रहा है वह गंभीर मामला है। सुरंग का निर्माण ¨सचाई विभाग देहरादून ने किया। ¨सचाई विभाग देहरादून को कड़ा पत्र लिखा है तथा जल्द से जल्द रिसाव को बंद करने के निर्देश दिए गए हैं।