सभी क्रशर बंद करने की मांग उठी
संपर्क सूत्र, कीर्तिनगर : प्रखंड के मलेथा में क्रशरों के विरोध में रविवार को मलेथा के ग्रामीणों व गढ
संपर्क सूत्र, कीर्तिनगर : प्रखंड के मलेथा में क्रशरों के विरोध में रविवार को मलेथा के ग्रामीणों व गढ़वाल विश्व विद्यालय के छात्र नेताओं ने मलेथा तिराहे से ढोल-नगाड़ों के साथ जुलूस निकाला। वहीं समीर रतूड़ी का अनशन रविवार को तीसरे दिन भी जारी रहा। उन्होंने सभी क्रशरों को बंद करने की मांग उठाई हे। शांति व्यवस्था बनाए रखने को यहां पर भारी पुलिस फोर्स तैनात किया गया था।
रविवार को जुलूस धरना स्थल से टिहरी मोटर मार्ग होते हुए मलेथा टोला ग्वाड़ रोड स्थित सत्यम शिवम सुंदरम् स्टोन क्रशर के फाटक तक पहुंचा। यहां आंदोलनकारियों ने जोरदार नारेबाजी की। इस अवसर पर आंदोलनकारियों ने कहा कि मलेथा की धरती पर स्टोन क्रशर किसी भी हालत में बर्दाश्त नहीं किए जाएंगे। जब तक इन्हें बंद नहीं किया जाता, ग्रामीणों का आंदोलन जारी रहेगा। इसके बाद जुलूस वापस छेड़ाधार स्थित माधो सिंह भंडारी के स्मारक पर पहुंचा जहां पर ग्रामीणों ने माधो सिंह भडारी की जयजय कार व शासन प्रशासन मुर्दाबाद के नारे लगाए। जुलूस के बाद ग्रामीण वापस धरना स्थल पर पहुंचे जहां नगर पालिका श्रीनगर के अध्यक्ष विपिन मैठाणी, एनआइटी के छात्र, श्रीनगर गंगा आरती समिति के अध्यक्ष प्रेम भल्लभ नैथाणी व गढ़वाल विश्व विद्यालय के नोडल अधिकारी अरविंद दरमोड़ा, तहसीलदार बी एस मंडागी, प्रभारी निरीक्षक अब्बल सिंह रावत, जगदीश पंत, मदन सिंह बिष्ट, समाज सेवी अनिल स्वामी, देव सिंह, लक्ष्मी रावत, आशा पंत , आशा नौडियाल, बिमला नेगी, प्रधान शूरवीर सिंह बिष्ट आदि मौजूद थे।
समीर का अनशन तीसरे दिन भी जारी
हिमालय बचाओ अभियान के समीर रतूड़ी का अनशन रविवार को तीसरे दिन भी जारी रहा। उन्होंने कहा कि उच्च न्यायालय में स्टोन क्रशर की ओर से दायर की गयी याचिका पीटिशनकर्ता ने वापस ले ली थी, जिसके चलते कोर्ट ने संचालन करने व रोकने के लिए किसी भी प्रकार का निर्णय नहीं दिया है। उन्होंने कहा कि कीर्तिनगर के रानीहाट में सागर नैथाणा, सुपाणा में भगवती व जुयालगढ़ में लगे सभी स्टोन क्रशर मानकों के विपरीत है जिन्हें तुरंत बंद किया जाए। समीर के समर्थन में सत्यनारायण सेमवाल, सच्चिदांनद बडोनी, खेम सिंह चौहान, दलपत राम तिवाड़ी, बिरेन्द्र नेगी, दिनेश भट्ट क्रमिक धरने पर बैठे रहे।
वहीं, क्रशर मालिक विकास बिष्ट का कहना है कि न्यायालय का आदेश है कि क्रशर से तीन सौ मीटर की परिधि के अंदर किसी तरह का धरना प्रदर्शन न किया जाए, जबकि ग्रामीणों ने इसका पालन नहीं किया है। आंदोलित ग्रामीण तीन दिन से वाहन भी रोक रहे हैं, जो कोर्ट की अवमानना है। इसके खिलाफ न्यायालय में याचिका दायर की जाएगी।