जल कलश यात्रा के साथ शुरू हुई श्रीमद्भागवत कथा
संवाद सहयोगी, रुद्रप्रयाग: श्री बांके बिहारी गौ सेवा समिति की ओर से नगर में सात दिवसीय श्रीमद्भागवत
संवाद सहयोगी, रुद्रप्रयाग: श्री बांके बिहारी गौ सेवा समिति की ओर से नगर में सात दिवसीय श्रीमद्भागवत कथा का जल कलश यात्रा के साथ शुभारंभ हो गया है। यात्रा में 51 महिलाएं, स्कूली छात्राएं समेत अन्य भक्त शामिल हुए। नगर क्षेत्र के गुलाबराय मैदान में आयोजित श्रीमद्भागवत कथा के पूर्व भक्त ढोल नगाड़ों के साथ अलकनंदा-मंदाकिनी के संगम तट पर पहुंचे, जहां ब्राह्मण एवं भक्तों ने मां गंगा की पूजा-अर्चना की। जिसके बाद गंगा जल को कलश में भरा गया। कलश यात्रा संगम स्थल से प्रारंभ होकर मुख्य बाजार होते हुए कथा स्थल गुलाबराय मैदान पहुंची। जहां यात्रा का स्वागत किया गया। इसके पश्चात ब्राह्मणों ने गणेश पूजा, रुद्रीपाठ, व्यास पूजा समेत कई पूजाएं संपन्न की। कथा के पहले दिन वृदावंन के कथावाचक संजय कृष्ण ठाकुर ने जल कलश यात्रा एवं नारद भक्ति संवाद के महत्व के बारे में बताया। कहा कि हिमालय से निकलने वाला गंगाजल पवित्र एवं निर्मल है। इस जल में कई औषधियां घुली रहती हैं, जिससे यह पानी कभी भी खराब नहीं होता है। शास्त्रों में गंगाजल को पवित्र माना गया है, इसलिए इस जल से देवताओं को स्नान भी कराया जाता है। बताया कि नारद भगवान विष्णु के परम भक्त थे। उन्होंने पूरा जीवन नारायण की भक्ति में काटा। वह निस्वार्थ भाव से हमेशा भगवान की भक्ति में लीन रहे। समिति के सदस्य तरूण भारद्वाज ने बताया कि नगर में सात दिवसीय कथा का शुभारंभ हो गया है। कार्यक्रम में मुख्य यजमान मोहन सिंह बिष्ट व राजेश सेमवाल, सेवानिवृत्त वनक्षेत्राधिकारी महिमानंद भट्ट, गोपाल प्रसाद, सुनील नौटियाल, अरविन्द बगवाड़ी, गणेश सेमवाल, भारत भूषण भट्ट, रामानंद नौटियाल आदि उपस्थित थे।