अभियंता को नहीं मिली राहत
जागरण संवाददाता, नैनीताल : हाई कोर्ट ने आर्य भट्ट प्रेक्षण विज्ञान शोध संस्थान एरीज में हुई नियुक्ति
जागरण संवाददाता, नैनीताल : हाई कोर्ट ने आर्य भट्ट प्रेक्षण विज्ञान शोध संस्थान एरीज में हुई नियुक्तियों में धांधली की जांच में आरोपी बनाए गए सिविल इंजीनियर ओमप्रकाश के मामले में हस्तक्षेप से इन्कार करते हुए 14 नवंबर तक निचली कोर्ट में समर्पण करने के आदेश पारित किए हैं। इस मामले में आरोपी एरीज के पूर्व निदेशक ने सीबीआइ देहरादून कोर्ट में आत्मसमर्पण कर दिया, जहां से उन्हें जेल भेज दिया गया है।
नैनीताल निवासी डीएन भट्ट व अल्मोड़ा निवासी नीरज नयाल ने जनहित याचिका दायर कर एरीज में नियुक्तियों में धांधली की स्वतंत्र एजेंसी से जांच कराने की मांग की थी। जिस पर कोर्ट ने पूर्व निदेशक प्रो. रामसागर के खिलाफ प्राथमिकी दर्ज कर धांधलियों की सीबीआइ जांच के आदेश दिए। सीबीआइ ने जांच-पड़ताल के बाद सिविल इंजीनियर ओमप्रकाश को भी मामले में आरोपी बनाया। ओमप्रकाश ने सीबीआइ की चार्जशीट को चुनौती देते हुए आरोप पत्र रद करने की मांग की थी। न्यायाधीश न्यायमूर्ति आलोक सिंह की एकल पीठ ने मामले में हस्तक्षेप से इन्कार कर दिया और याची को निचली कोर्ट में सरेंडर करने के निर्देश दिए।