27 करोड़ के मोटरमार्ग की जांच ठंडे बस्ते में
संवाद सहयोगी, भीमताल : करोड़ों की लागत से बन रहे रूसी बाइपास के निर्माण की जांच ठंडे बस्ते में चली ग
संवाद सहयोगी, भीमताल : करोड़ों की लागत से बन रहे रूसी बाइपास के निर्माण की जांच ठंडे बस्ते में चली गई है। बनने से पहले ही खस्ताहाल हो चुके इस मार्ग पर प्रशासन ने तेजी से जांच तो शुरू की, लेकिन छह माह बाद भी निर्माण सामग्री के सैंपल की जांच रिपोर्ट नहीं आ सकी है।
नैनीताल में बड़े वाहनों का दबाव कम करने के लिए बल्दियाखान के समीप रूसी गांव से खुर्पाताल तक बाइपास बनाने के लिए 2005 में नौ करोड़ 52 लाख 82 हजार रुपये स्वीकृत किए गए। साढ़े छह किमी लंबे इस बाइपास का निर्माण 2007 में शुरू तो हुआ, लेकिन आज तक इसका लाभ लोगों को नहीं मिल पा रहा। इसके उल्ट मोटरमार्ग की लागत 27 करोड़ 63 लाख 38 हजार तक पहुंच गई और अभी भी कार्य अधूरा है। यही नहीं रूसी गांव के समीप छह करोड़ की लागत से पुल व दीवार बनाई गई, लेकिन यह दीवार पहली बारिश भी नहीं झेल पाई। इधर, डीएम दीपक रावत के निर्देश पर पूर्व सीडीओ ललित मोहन रयाल ने मोटर मार्ग में प्रयुक्त निर्माण सामग्री की जांच के नमूने नई दिल्ली स्थिति श्री राम इंस्टीट्यूट फार इंडस्ट्रियल रिसर्च भेजे थे। छह माह बीतने के बाद भी रिसर्च सेंटर से रिपोर्ट नहीं आ सकी है। इधर, मोटरमार्ग के हालात लगातार दिन-प्रतिदिन खराब होते जा रहे हैं। मामले में जांच की धीमी गति पर स्थानीय निवासियों और जनप्रतिनिधियों ने जांच अधिकारी सीडीओ प्रकाश चंद्र से गुहार लगाई है।
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जांच के लिए जो सैंपल भेजे गए थे उसकी रिपोर्ट नहीं आई है। लोनिवि को जल्द से जल्द रिपोर्ट मंगाने के लिए कहा गया है। तब तक लोनिवि को मार्ग दुरुस्त करने के निर्देश दिए गए हैं।
प्रकाश चंद्र, सीडीओ
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लोनिवि ने दिल्ली स्थित सेंटर से रिपोर्ट भेजने के लिए रिमाइंडर भेजा है। रिपोर्ट आने के बाद ही जांच शुरू हो पाएगी। फिलहाल जल्द रिपोर्ट आने की उम्मीद है।
चंदन सिंह नेगी, अधिशासी अभियंता, लोनिवि