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मातृ व शिशु मृत्यु दर में कमी लाना जरूरी

जागरण संवाददाता, हरिद्वार: नेशनल हेल्थ मिशन की ओर से सोमवार को महिला अस्पताल सभागार में आयोजित कार्य

By Edited By: Published: Mon, 16 Jan 2017 09:01 PM (IST)Updated: Mon, 16 Jan 2017 09:01 PM (IST)
मातृ व शिशु मृत्यु दर में  कमी लाना जरूरी
मातृ व शिशु मृत्यु दर में कमी लाना जरूरी

जागरण संवाददाता, हरिद्वार: नेशनल हेल्थ मिशन की ओर से सोमवार को महिला अस्पताल सभागार में आयोजित कार्यशाला में मातृ व शिशु मृत्यु दर पर चिंता जताई गई।

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दिल्ली से आए मिशन के सीनियर परामर्शदाता डॉ. अजीत व डॉ. आशिमा भटनागर ने कहा कि प्रदेश में मातृ मृत्यु दर (एमडीआर) शिशु मृत्यु दर (सीडीआर) की स्थिति ठीक नहीं है। इसमें हरिद्वार की स्थिति दयनीय है। इसमें सुधार लाना होगा। प्रसव के दौरान प्रसूता व गर्भ में पल रहे बच्चे का विशेष ख्याल रखना होगा। समय समय पर लगने वाले टीके में कोई कोताही न हो। कहा कि स्वास्थ्य विभाग की ओर से उनके इलाज की सभी व्यवस्था की निगरानी चिकित्साधिकारी स्वयं करें। राष्ट्रीय स्वास्थ्य मिशन की जिला परियोजना प्रबंधक मोनिका राणा ने बताया कि जिले में मातृ मृत्यु दर प्रति एक लाख जीवित महिला में 158 है और शिशु मृत्यु दर प्रति एक हजार में 64 है। इसको सुधारने के लिए मिशन की ओर से विभिन्न योजनाएं संचालित हैं। इसका लाभ उनको मिलना सुनिश्चित कराना होगा। सीएमओ डॉ. बीएस जंगपांगी ने कहा कि कार्यशाला में दी जा रही जानकारियों को आधार बनाकर सभी चिकित्साधिकारी और एएनएम अपने क्षेत्रों में पूरी ईमानदारी से कार्य कर एमडीआर और सीडीआर में कमी लाने का पूरा प्रयास करें। कार्यशाला के पहले दिन एसीएमओ डॉ. एचडी शाक्य, महिला अस्पताल की वरिष्ठ बालरोग चिकित्सक डॉ. मीता श्रीवास्तव, डॉ. अल्पना के अलावा गढ़वाल मंडल के सभी जिलों की महिला अस्पताल की सीएमएस और संबंधित जिलों के एनएचएम के डीपीएम उपस्थित रहे।


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