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चरम पर पहुंचा कांवड़ियों का रेला

By Edited By: Published: Thu, 24 Jul 2014 01:00 AM (IST)Updated: Thu, 24 Jul 2014 01:00 AM (IST)
चरम पर पहुंचा कांवड़ियों का रेला

संवाद सहयोगी, रुड़की: जितने कांवड़िये गंगाजल लेकर हरिद्वार की ओर से आ रहे हैं उससे कहीं अधिक शिवभक्त गंगाजल लेने हरि नगरी की ओर दौड़ रहे हैं। ऐसे में प्रशासन के लिए व्यवस्था बनाए रखना चुनौती बना रहा। स्थानीय लोग तो डाक कांवड़ से टकराने के डर के कारण हाईवे की ओर ही जाने से कतराते रहे।

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दिल्ली-हरिद्वार हाईवे पर डाक कांवड़ प्रति मिनट 125 से लेकर 130 तक लौट रही है। जबकि हरिद्वार की ओर गंगाजल लेने के लिए प्रति मिनट 150 से 155 तक डाक कांवड़ जा रही है। यदि पटरी पर देखे तो हरिद्वार की ओर जाने वाले बाइक सवारों की संख्या इससे थोड़ी कम है। भगवानपुर-धनौरी मार्ग पर गंगाजल लेकर लौटने वाले कावड़ियों की संख्या अधिक व गंगाजल लेने हरिद्वार की ओर जाने वाले शिवभक्तों की संख्या थोड़ा कम है। इसी कारण हाईवे व अन्य मार्ग को कोई भी चौराहा व तिराहा लोग आसानी से क्रास नहीं कर पाए।

सबसे अधिक दिक्कत ओवर टेक करने वाले डाक कांवड़ के वाहनों को लेकर हुई है। शहर के लोगों ने बुधवार को दूर से खडे़ होकर डाक कांवड़ को निहारा जरूर, पर किसी की हिम्मत सड़क के समीप तक पहुंचने की नहीं हुई। कोचिंग सेंटर में भी आज छात्र पढ़ने के लिए नहीं गए।

पैदल यात्रा भी रही जारी

लोग मानकर चल रहे थे कि डाक कांवड़ के रफ्तार पकड़ने के साथ ही पैदल यात्रा करने वाले कांवडि़ये रुक जाएंगे। लेकिन डाक कांवड़ के चलते भी पैदल यात्रा करने वाले शिवभक्तों की संख्या काफी है। सुबह से ही पैदल यात्रा करने वालों की मंडलियां भगवान शिव के भजनों पर झूमते हुए आगे बढ़ते रहे। हाईवे तक पर पैदल यात्रा करने वाले कावडि़यों की पूरे दिन मौजूदगी बनी रही।

मोबाइल चिकित्सा शिविर दौड़ते रहे सड़कों पर

डाक कांवड़ व पैदल यात्रा के मद्देनजर मोबाइल चिकित्सा शिविर पूरे दिन सड़कों पर दौड़ते रहे। करीब दो दर्जन वाहनों में चिकित्सकों की टीम लगाई गई थी।

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डीएम व एसएसपी लेते रहे रिपोर्ट

जिलाधिकारी डी. सैंथिल पांडियन व एसएसपी डॉ. सदानंद दाते डाक कांवड़ की सफलता पर जोनल व सेक्टर मजिस्ट्रेटों से फोन पर लगातार रिपोर्ट लेते रहे। विशेषकर डाक कांवड़ के वाहनों की गति के संबंध में दोनों अधिकारी निर्देश भी देते रहे।


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