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कई प्रभावित क्षेत्रों तक नहीं पहुंची राहत

By Edited By: Published: Fri, 22 Aug 2014 10:35 PM (IST)Updated: Fri, 22 Aug 2014 10:35 PM (IST)
कई प्रभावित क्षेत्रों तक नहीं पहुंची राहत

जागरण संवाददाता, ऋषिकेश :

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आपदा प्रभावित दोगी पट्टी व यमकेश्वर प्रखंड के जनप्रतिनिधियों ने प्रशासन से क्षेत्र में राहत व बचाव कार्यो में तेजी लाने की गुहार लगाई है।

14 व 15 अगस्त को यमकेश्वर प्रखंड तथा दोगी पट्टी के दर्जनों गांवों आपदा की चपेट में आ गए हैं। दोगी के जिला पंचायत सदस्य क्यारा मुनेंद्र सिंह भंडारी ने बताया कि अतिवृष्टि से क्षेत्र में कई भवन क्षतिग्रस्त हो गए हैं। जबकि कई नाली कृषि भूमि नदी नालों की बाढ़ में बह गई है। उन्होंने बताया कि संपर्क मार्ग व पुलों के अलावा पेयजल योजनाएं क्षतिग्रस्त होने से क्षेत्र में खाद्यान्न व पेयजल का संकट गहरा गया है। उन्होंने प्रशासन से राहत कार्य में तेजी लाने के साथ प्रभावितों को उचित मुआवजा देने की मांग की है। ग्राम प्रधान तिमली छुमा देवी ने प्रशासन के राहत कार्यो पर असंतोष जताया। ग्राम प्रधान बडेड़ा विजय लक्ष्मी राणा ने प्रभागीय वनाधिकारी नरेंद्रनगर को ज्ञापन प्रेषित कर क्षेत्र में लगातार हो रही भूस्खलन को रोकने के लिए चैकडैम निर्माण की मांग की है। उन्होंने बताया कि ग्राम घुघतानी तल्ली व मल्ली, जामरी काटल, बड़कोट, पटेर व बडेड़ा में भू कटाव से रास्ते क्षतिग्रस्त हो गए हैं। उधर, यमकेश्वर के सिगड्डी क्षेत्र में नदी के उफान से तीन भवन क्षतिग्रस्त हो गए हैं। जबकि कई नाली भूमि बह गई है। स्थानीय निवासी जितेंद्र सिंह ने बताया कि अभी तक यहां प्रशासन का कोई नुमाइंदा क्षति का आंकलन करने के लिए भी नहीं पहुंच पाया है। वहीं ढिकेट व घायाखाल में भी कई भवन क्षतिग्रस्त हो गए। यहां भारी पशु हानि भी हुई है। स्थानीय लोगों ने प्रशासन से मौका मुआयना कर प्रभावितों को उचित राहत मुहैया कराने की मांग की है।

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आमरण अनशन की चेतावनी

ग्राम प्रधान बैरागढ़ अरुण कुमार ने जिलाधिकारी पौड़ी को ज्ञापन भेज स्थानीय प्रशासन पर पीड़ितों की सुनवाई न करने का आरोप लगाया है। उन्होंने 25 अगस्त से वेद निकेतन में आमरण अनशन की चेतावनी दी। इस संबंध में उन्होंने उप जिलाधिकारी यमकेश्वर को भी प्रति सौंपी है। उन्होंने बताया कि ग्राम पंचायत सिंदुड़ी के खंड ग्राम बैरागढ़ व कुटालगांव में आपदा से भारी क्षति पहुंची है। यहां कई भवन क्षतिग्रस्त हो गए हैं। प्रशासन यहां से 103 लोगों को रेस्क्यू कर स्वर्गाश्रम लाया और अब 2700 रुपये आर्थिक सहायता व कुछ राहत सामग्री थमा कर लौटने की बात कह रहा है। उन्होंने प्रति परिवार क्षति का मुआवजा देने तथा प्रभावित गांव को विस्थापित करने की मांग की है। ज्ञापन में संजय सिंह, चंद्रमोहन, शांता प्रसाद, राकेश सिंह, कमलेश देवी, उर्मिला देवी आदि ने हस्ताक्षर किए हैं।


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