दवा नहीं, अब दुआ का सहारा
जागरण संवाददाता, देहरादून: प्रदेश में स्वास्थ्य सुविधाएं पटरी पर आती नहीं दिख रही हैं। एक ओर तो सरका
जागरण संवाददाता, देहरादून: प्रदेश में स्वास्थ्य सुविधाएं पटरी पर आती नहीं दिख रही हैं। एक ओर तो सरकार सुधार का दम भर रही है और दूसरी ओर अस्पतालों को समय पर बजट तक नहीं मिल रहा। जिसका खामियाजा मरीज भुगत रहे हैं। अब कोरोनेशन अस्पताल को ही ले लीजिए। बजट की कमी के कारण अस्पताल की तमाम सेवाएं बाधित होने लगी हैं। एक तरफ मरीजों के खाने और दवा पर संकट है तो दूसरी तरफ वक्त पर बिल न जमा होने से बिजली का कनेक्शन भी कटने की नौबत है।
पहाड़ में स्वास्थ्य सुविधाओं का बुरा हाल किसी से छिपा नहीं है। मगर राजधानी दून में भी हालात बहुत अच्छे नहीं हैं। वह भी तब जब यहां पूरा सरकारी तंत्र विराजमान है। कोरोनेशन अस्पताल को हर तिमाही मिलने वाला बजट एक साल से नहीं मिला है। अस्पताल को अप्रैल-मई 2016 में बजट की पहली किस्त के रूप में 35 लाख रुपये मिले थे। उसके बाद अब करीब 60 लाख रुपये का बजट स्वीकृत हुआ है, लेकिन मुख्य कोषाधिकारी के स्तर से बजट जारी नहीं हुआ। ऐसे में अस्पताल में सेवाओं का संचालन मुश्किल हो गया है। विशेषकर मरीजों की दवा, भोजन, अस्पताल में बिजली व अन्य सेवाएं प्रभावित हो रही है। सीएमएस डॉ. एलसी पुनेठा ने बताया अस्पताल पर देनदारी लगातार बढ़ती जा रही है। छोटे-मोटे खर्चो का भुगतान चिकित्सा प्रबंधन समिति अपने संसाधनों से कर रही है। बिजली, दवा, भोजन समेत अन्य मदों में एक करोड़ 13 लाख रुपये का बकाया है। अब ऊर्जा निगम ने भी कनेक्शन काटने की भी चेतावनी दे दी है।
तीमारदारों के लिए पास
यदि आपका कोई परिजन अस्पताल में भर्ती है तो उससे मिलने के लिए अब आपको पास बनवाना पड़ेगा। अस्पताल प्रशासन यह नई व्यवस्था शुरू करने जा रहा है। दरअसल, सोमवार को अस्पताल परिसर में शराब की खाली बोतलें मिलीं। जिसके बाद रात्रि गार्ड को चेतावनी देते हुए स्पष्टीकरण मांगा गया। इतना ही नहीं परिजनों को पास जारी करने पर भी विचार किया जा रहा है, जिससे अवांछित तत्व अस्पताल में दाखिल न हो सकें।