जम्मू के शरणार्थियों को मिलेगी नागरिकता: शाह
राज्य ब्यूरो, देहरादून: भाजपा के राष्ट्रीय अध्यक्ष अमित शाह ने कहा कि वर्ष 1947 व 1965 से जम्मू-कश्म
राज्य ब्यूरो, देहरादून: भाजपा के राष्ट्रीय अध्यक्ष अमित शाह ने कहा कि वर्ष 1947 व 1965 से जम्मू-कश्मीर में शरणार्थी का जीवन जी रहे लोगों को जल्द ही देश की नागरिकता दी जाएगी। उन्होंने कहा कि भाजपा-पीडीपी गठबंधन सरकार के न्यूनतम साझा कार्यक्रम में यह विषय भी शामिल किया गया है। जम्मू-कश्मीर से धारा 370 तब हटेगी, जब भाजपा के पास इसके लिए सांसदों का पर्याप्त संख्याबल होगा।
भाजपा के राष्ट्रीय अध्यक्ष अमित शाह ने प्रदेश स्तरीय बैठक के बाद कार्यकर्ताओं से सीधे संवाद के दौरान यह बात कही। इस कार्यक्रम में मीडिया को अनुमति नहीं दी गई थी। सूत्रों के मुताबिक पार्टी के एक कार्यकर्ता द्वारा जम्मू-कश्मीर के बारे में सवाल उठाए जाने पर भाजपा अध्यक्ष अमित शाह ने कहा कि जब से जम्मू-कश्मीर में भाजपा के गठबंधन वाली सरकार बनी है, तब से कोई भी राजनीतिक फ्रंट अलगाववादी ताकतों के साथ खड़ा नहीं है। कोई भी कानून अलगाववादी नेता मसरत आलम को अगले दो साल तक जेल से बाहर नहीं निकाल सकता।
भाजपा व पीडीपी के गठबंधन वाली सरकार के न्यूनतम साझा कार्यक्रम में उन लगभग नौ लाख शरणार्थियों को नागरिकता व मतदान का अधिकार देने का विषय भी शामिल किया गया है, जो 1947 व 1965 में जम्मू-कश्मीर आ गए थे और तब से ही एक शरणार्थी का जीवन जी रहे हैं। धारा 370 के सवाल का जवाब देते हुए पार्टी अध्यक्ष शाह ने कहा कि जब भाजपा के पास सांसदों का संख्याबल पर्याप्त होगा, तो इस पर भी निर्णय ले लिया जाएगा।
पार्टी के एक विधायक ने राज्य की कांग्रेस सरकार द्वारा भाजपा विधायकों के निर्वाचन क्षेत्रों की उपेक्षा करने का सवाल उठाया। इसके जवाब में राष्ट्रीय अध्यक्ष अमित शाह ने कहा कि यह प्रदेश संगठन के स्तर का विषय है। इस मामले में प्रदेश इकाई को सरकार की उपेक्षापूर्ण रवैये के खिलाफ संघर्ष करना चाहिए। उन्होंने भूमि अधिग्रहण बिल पर कांग्रेस की ओर से फैलाई जा रहे भ्रम को भी कार्यकर्ताओं के समक्ष रखते हुए जनता के बीच स्थिति को स्पष्ट करने का आह्वान किया।