हरकत में आया विभाग, पेड़ों का कटान शुरू
संवाद सहयोगी, गोपेश्वर : सड़क की मांग को लेकर द्रोणागिरी क्षेत्र के लोगों के धरने का असर ही है कि वन
संवाद सहयोगी, गोपेश्वर : सड़क की मांग को लेकर द्रोणागिरी क्षेत्र के लोगों के धरने का असर ही है कि वन निगम के अधिकारियों ने मौके पर पहुंच कर पेड़ों के कटान का काम शुरू कर दिया है। ग्रामीणों ने सड़क निर्माण स्थल पर धरना देकर निर्णय लिया कि अगर लोनिवि ने सड़क का काम शुरू नहीं किया तो वे 25 अप्रैल को लोनिवि गोपेश्वर कार्यालय पर तालाबंदी करेंगे।
गौरतलब है कि सीमांत क्षेत्र जोशीमठ के द्रोणागिरी, गरपक के दर्जनों गांवों को जोड़ने के लिए सरकार ने दो दशक पहले सड़क निर्माण की स्वीकृति दी थी। लेकिन, लोनिवि की ओर से धनराशि होने के बाद भी सड़क व पुल निर्माण का काम आधा- अधूरा छोड़ दिया गया है। सड़क निर्माण को लेकर ग्रामीण जुम्मा गांव में कार्यस्थल पर 20 अप्रैल से क्रमिक अनशन कर रहे हैं। ग्रामीणों के धरने के बाद हरकत में आए वन विभाग ने प्रस्तावित सड़क मार्ग में आ रहे पेड़ों को काटने की प्रक्रिया शुरू कर दी है। नंदादेवी राष्ट्रीय पार्क के अधिकारियों ने पेड़ों को काटने के लिए छपान की अनुमति देकर इसे काटने के लिए वन निगम के मजदूरों को कार्य पर लगा दिया है। ग्रामीणों का कहना है कि लोनिवि सड़क निर्माण के नाम पर ग्रामीणों को लंबे समय से गुमराह कर रही है। लिहाजा वे कार्य शुरू होने तक धरना जारी रखेंगे। ग्रामीणों ने आंदोलन स्थल पर बैठक कर निर्णय लिया कि अगर तत्काल सड़क निर्माण का काम शुरू नहीं किया गया तो वे 25 अप्रैल को जिला मुख्यालय पर लोनिवि अधिशासी अभियंता कार्यालय पर तालाबंदी भी करेंगे। धरना देने वालों में क्षेत्र पंचायत सदस्य इंद्र सिंह, संघर्ष समिति के अध्यक्ष पुष्कर सिंह राणा, नरेंद्र सिंह, देव सिंह आदि शामिल हैं।
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मिश्रित वनों का भ्रमण करेंगी महिलाएं
रुद्रप्रयाग : मिश्रित वन को बढ़ावा देने के लिए वर्ल्ड विजन इंडिया कार्यक्रम के तहत पौड़ी जनपद की चालीस महिला सदस्यों का दल शुक्रवार को रुद्रप्रयाग जनपद के रानीगढ़ स्थित जगत सिंह चौधरी के मिश्रित वन का भ्रमण करेगा। इस दौरान उन्हें पर्यावरण से संबंधित विभिन्न जानकारियां दी जाएगी। पर्यावरणविद् जगत सिंह चौधरी ने बताया कि 24 अप्रैल को पौड़ी जनपद के दूरदराज के गांवों से चालीस महिलाएं रुद्रप्रयाग पहुंचेगी। इन महिलाओं के लिए एक दिवसीय कार्यशाला का आयोजन किया जाएगा। बताया कि कार्यशाला में महिलाओं को पारिस्थितिकी तंत्र की मजबूती, जल, मिट्टी, जंगल व आजीविका संरक्षण की जानकारी दी जाएगी। साथ ही क्षेत्रीय स्तर पर सूक्ष्म जलवायु निर्माण कर ग्लोबल वार्मिग का मुकाबला करने की भी जानकारी दी जाएगी।