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पटना-कोटा में टूटी सीटें, सिकंदराबाद-पटना में पानी नहीं

वाराणसी : रेलवे मंत्रालय द्वारा ट्रेनों में यात्री सुविधाओं के नाम पर सवारियों के साथ छलावा किया जा

By Edited By: Published: Sat, 29 Aug 2015 02:42 AM (IST)Updated: Sat, 29 Aug 2015 02:42 AM (IST)
पटना-कोटा में टूटी सीटें, सिकंदराबाद-पटना में पानी नहीं

वाराणसी : रेलवे मंत्रालय द्वारा ट्रेनों में यात्री सुविधाओं के नाम पर सवारियों के साथ छलावा किया जा रहा है। ट्रेनों में मूलभूत सुविधाओं के लिए भी यात्रियों को जूझना पड़ता है। पैसेंजर ट्रेनों में तो न सीट बैठने लायक है और न ही पंखा चलता है। सफाई तो मानों भगवान के भरोसे छोड़ दी गई हो। कुछ ऐसा ही हाल एक्सप्रेस व सुपरफास्ट ट्रेनों का भी है। वाराणसी के कैंट रेलवे स्टेशन पर शुक्रवार को पटना-मथुरा कोटा मेल एक्सप्रेस ट्रेन की स्थिति का जायजा लिया गया तो कुछ ऐसा ही नजारा देखने को मिला। स्लीपर बोगी में पंखा व पानी की किल्लत तो जनरल बोगी की सीटें टूटी मिली।

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यहां से प्रति दिन हजारों यात्री ट्रेनों में सफर करते हैं। एक सैकड़ा से भी अधिक यात्री ट्रेनें प्रतिदिन गुजरती है। ऐसे में सुविधाओं को लेकर शिकायतों की झड़ी लगी रहती है। इसके बावजूद यात्रियों को पानी, पंखा व सफाई जैसी मूलभूत सुविधाओं के लिए जूझना पड़ता है। प्लेटफार्म नंबर पांच पर शाम पांच बजे मथुरा पटना कोटा मेल आकर रुकी। जागरण की टीम ने जनरल बोगी में यात्री सुविधाओं का जायजा लेने पहुंची। बागी में टूटे सीट पर जैसे ही कैमरे का फ्लैश चमका बोगी में बैठे यात्री समस्याओं को लेकर रेलवे विभाग के खिलाफ आग उगलने लगे। बागी में अधिकतर सीटें फटी हुई थी। स्लीपर बोगी में भी सीटों की स्थिति दयनीय थी। कई पंखे बंद पडे़ थे। गंदगी व्याप्त थी। कुछ बोगी में शौचालय में पानी नहीं आ रहा था। वहीं प्लेटफार्म नंबर एक पर शाम 5 बजे सिकंदराबाद पटना एक्सप्रेस ट्रेन पहुंची। सवारियों से खचाखच भरी ट्रेन में स्लीपर में पांव रखने की जगह नहीं थी। सफाई के नाम पर चारों तरफ गंदगी व्याप्त थी। जब ट्रेन के अंदर एसी ए-2 बोगी में पानी का जायजा लिया गया तो एक तरफ के बेसिन में पानी आ रहा था तो एक तरफ नल से पानी की जगह सिर्फ हवा निकल रही थी।

ट्रेनें रही लेट, यात्री बेहाल

- वाराणसी स्टेशन पर शुक्रवार को कई ट्रेनें पहुंची जिसमें मुख्य रूप से राजगीर पटना से चलकर दिल्ली को जाने वाली श्रमजीवी सुपरफास्ट एक्सप्रेस ट्रेन ढाई घंटा, दुर्ग से चलकर छपरा को जाने वाली सारनाथ एक्सप्रेस 90 मिनट, छपरा से सूरत ताप्ती गंगा एक्सप्रेस 45 मिनट लेट वाराणसी स्टेशन पर पहुंची। इस दौरान भीषण गर्मी में यात्री बेहाल रहे।

ट्रेनों में यात्री सुविधाओं को लेकर जो भी शिकायत मिलती है तत्काल उसका निस्तारण कराया जाता है। जहां तक ट्रेनों के लेट-लतीफ होने की बात है तो लाइन क्लीयर नहीं मिलने के कारण कभी-कभी ट्रेनें लेट पहुंचती है। वैसे आज-कल करीब-करीब सभी ट्रेनें निर्धारित समय से चल रही है।

- एके पांडेय, स्टेशन प्रबंधक।


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