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सचिव ने पीसीएफ को दिया 2.81 लाख का एक और झटका

सुलतानपुर : कटघर पूरे चौहान के सचिव ने यूपी कोआपरेटिव फेडरेशन लिमिटेड को 2.81 लाख का एक और झटका दिया

By Edited By: Published: Mon, 02 May 2016 10:35 PM (IST)Updated: Mon, 02 May 2016 10:35 PM (IST)
सचिव ने पीसीएफ को दिया 2.81 लाख का एक और झटका

सुलतानपुर : कटघर पूरे चौहान के सचिव ने यूपी कोआपरेटिव फेडरेशन लिमिटेड को 2.81 लाख का एक और झटका दिया है। सत्र 2015-16 में प्रशासन व पीसीएफ की आंख में भरपूर धूल झोंका। रिकॉर्ड में जबरदस्त गेहूं खरीद कर अफसरों की तरफ से अपनी पीठ थपथपवाई। असलियत में गेहूं मौके पर खरीदा ही नहीं गया और समर्थन मूल्य खाते से निकालकर धन हड़प कर लिया गया। पीसीएफ हुए गड़बड़झाले की रिपोर्ट एआर कोआपरेटिव को भेजी है।

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प्रशासन ने सत्र 2015-16 में जिला खाद्य एवं विपणन को गेहूं खरीद की नोडल एजेंसी नामित किया था। विपणन की अध्यक्षता में कई एजेंसियों को गेहूं खरीदने का दायित्व दिया गया था। इनमें यूपी कोआपरेटिव फेडरेशन लिमिटेड, कर्मचारी कल्याण निगम, उत्तर प्रदेश सहकारी संघ, यूपी स्टेट एग्रो और भारतीय खाद्य निगम शामिल रहीं। यूपी कोआपरेटिव का क्षेत्रफल व सहयोगी इकाइयां साधन सहकारी समिति अधिक होने से इन्हें सर्वाधिक क्रय केंद्र खोलने का जिम्मा दिया गया। लक्ष्य के सापेक्ष गेहूं खरीद के लिए पीसीएफ ने साधन सहकारी समिति कटघर पूरे चौहान को 4 लाख रुपये स्वीकृत किए। चालू सत्र में प्रकरण की जांच की गई तो समिति की तरफ से महज 1,18,900 रुपये की गेहूं खरीद पाई गई। शेष 2,81,100 रुपये का भुगतान नहीं किया गया। आधिकारिक सूत्रों की मानें तो यह रकम समिति के पदाधिकारियों ने मिलकर डकार लिया।

इनसेट..: शासनादेश को धता बता चेक से किया भुगतान

साधन सहकारी समिति को किसानों से गेहूं खरीद कर उन्हें रियल टाइम ग्रास सेटेलमेंट के तहत खाते में समर्थन मूल्य देने का आदेश मिला। यहीं से समिति ने अपना खेल शुरू किया। किसानों को खाते में पैसा देने की बजाय चेक से भुगतान करने का फैसला लिया गया। रिकॉर्ड में फर्जी किसानों का नाम देकर जबरदस्त खरीद की गई। हालांकि व्यवस्था में सचिव व अध्यक्ष के संयुक्त हस्ताक्षर पर धनराशि निकलने की व्यवस्था की गई थी। लेकिन घोटालेबाजों ने इस व्यवस्था को भी तोड़कर पैसा निकाल लिया।

इनसेट..: नहीं दिया था पैसे का हिसाब

पीसीएफ के जिला प्रबंधक सत्येंद्र सिंह कटियार कहते हैं कि कटघर पूरे चौहान की समिति ने 2.81 लाख रुपये नहीं दिया था। जबकि कागज में गेहूं खरीद बढ़-चढ़कर दिखाई गई थी।

इनसेट..: घोटाले के लिए पीसीएफ जिम्मेदार : एआर कोआपरेटिव

एआर कोआपरेटिव दीपक सिंह ने घोटाले के पीछे पीसीएफ को जिम्मेदार बताया। पीसीएफ ने उन्हें गेहूं खरीद में अनियमितता के प्रकरण से अवगत नहीं कराया था। जांच कर सख्त विधिक कार्रवाई कराई जाएगी।


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